आइएस 227 गैंग का लीडर है पूर्व सांसद अतीक अहमद

पूर्व सांसद अतीक अहमद का अपराधिक इतिहास भी रहा है। आइएस 227 गैंग के लीडर के साथ ही भू माफिया और टॉप टेन सूची में अतीक का नाम शामिल है।

By Brijesh SrivastavaEdited By: Publish:Wed, 24 Apr 2019 03:55 PM (IST) Updated:Wed, 24 Apr 2019 03:55 PM (IST)
आइएस 227 गैंग का लीडर है पूर्व सांसद अतीक अहमद
आइएस 227 गैंग का लीडर है पूर्व सांसद अतीक अहमद

प्रयागराज : पूर्व सांसद बाहुबली अतीक अहमद का लंबा आपराधिक इतिहास है। पुलिस रिकार्ड में अतीक अहमद इंटर स्टेट (आइएस) 227 गैंग का लीडर है। इस गैंग में अतीक का भाई पूर्व विधायक खालिद अजीम उर्फ अशरफ भी शामिल है। गिरोह में 141 सदस्य हैं। अतीक का नाम भू माफिया, टॉप टेन सूची में भी शामिल है। अतीक पर करीब 305 मुकदमों की लंबी फेहरिस्त है। बसपा शासनकाल में एक रात में 113 मुकदमे हुए थे। हालांकि हाईकोर्ट के आदेश पर वह मुकदमे खत्म हो गए थे। मौजूदा समय में एमपी एमएलए कोर्ट में चल रहे 26 मुकदमों का ब्योरा सुप्रीम कोर्ट भेजा गया है।

 जनवरी 2016 तक अतीक पर करीब 150 मामले दर्ज थे

धूमनगंज थाना क्षेत्र के चकिया इलाके के रहने वाले अतीक अहमद के खिलाफ जनवरी वर्ष 2016 तक करीब 150 मामले दर्ज थे। इसमें हत्या, हत्या की साजिश, जानलेवा हमला, गैंगस्टर, लूट, आम्र्स एक्ट, ठगी, फर्जीवाड़ा करना, जमीन-मकान कब्जा करने समेत कई अन्य मामले हैं। इसमें के ज्यादातर मामलों में अतीक बरी हो चुके हैं, जबकि 26 मुकदमों की सुनवाई विशेष कोर्ट एमपी एमएलए में चल रही है। बसपा के तत्कालीन विधायक राजू पाल की हत्या और फिर सत्ता परिवर्तन के बाद 2007 में अतीक अहमद पर पुलिस का शिकंजा कसा।

मोस्ट वांटेड घोषित कर गैंग का चार्ट तैयार हुआ

अतीक को मोस्ट वांटेड घोषित कर गैंग का चार्ट तैयार हुआ। इसमें कई जिलों के गुर्गों को शामिल किया गया। इनकम टैक्स से संबंधित मामलों को जोड़ते हुए कई जिलों के जीआरपी और प्रयागराज के धूमनगंज थाने में एक साथ 113 मुकदमे दर्ज हुए। हालांकि हाईकोर्ट के आदेश पर ये मुकदमे खत्म हो गए।

बसपा शासनकाल में अतीक की करोड़ों रुपये की संपत्ति सीज हुई 

बसपा शासनकाल में अतीक की करोड़ों रुपये की संपत्ति सीज हुई थी। गैंगस्टर भी लगाया गया था। अतीक के घर कुर्की के बाद सिविल लाइंस की दो बिल्डिंग भी गिरा दी गई थी। महंगी और लग्जरी कारों को सीज कर दिया था।

पांच बार विधायक, एक बार सांसद रहे अतीक

बाहुबली अतीक अहमद की राजनीतिक चाल बसपा विधायक रहे राजू पाल हत्याकांड के बाद डांवाडोल हो गई। पांच बार विधायक रहे अतीक एक बार सांसद भी बने लेकिन कई चुनावों से हार का सामना करना पड़ रहा है। प्रयागराज की शहर पश्चिमी विधानसभा सीट से अतीक पांच बार विधायक रह चुके हैं। दो बार निर्दलीय, दो बार सपा और एक बार अपना दल से विधायक बने अतीक ने यह सीट अपने भाई खालिद अजीम उर्फ अशरफ के लिए छोड़ दी थी। वह फूलपुर संसदीय सीट से सांसद चुने गए। हालांकि उनके भाई अशरफ अपनी सीट बचा नहीं सके। 

बसपा विधायक राजू पाल की हत्या में नामजद 

25 जनवरी वर्ष 2005 में बसपा विधायक राजू पाल की हत्या कर दी गई। विधायक की हत्या की गूंज सूबे तक में सुनी गई। प्रयागराज में कई दिनों तक बवाल चला, थाने-पुलिस चौकियां फूंक दी गईं। मामले में अतीक, उनके भाई अशरफ समेत 11 लोग नामजद हुए। फरारी के बाद दोनों भाई जेल गए। हालांकि अब यह मामला सीबीआइ के हवाले है। अतीक अहमद ने संसदीय चुनाव एक बार प्रतापगढ़ और एक बार श्रावस्ती से भी लड़ा, लेकिन हार का सामना करना पड़ा।

26 मुकदमों का ब्योरा सुप्रीम कोर्ट भेजा

विशेष कोर्ट एमपी एमएलए के विशेष न्यायाधीश पवन कुमार तिवारी ने हाईकोर्ट के रजिस्ट्रार व जिला जज के आदेश पर पूर्व सांसद अतीक अहमद से संबंधित 26 मुकदमों का ब्योरा और आर्डरशीट जिला जज के मार्फत सुप्रीम कोर्ट भेजा है। इन 26 मुकदमों में हत्या, प्राणघातक हमला, अपहरण, डकैती व जमीन कब्जा, आम्र्स एक्ट आदि के हैं।

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