Face mask कोरोना वायरस को मुंह और नाक के रास्ते गले तक पहुंचने से रोकता है, जानें- डॉक्टर्स के टिप्स
मोतीलाल नेहरू मेडिकल कालेज के प्रधानाचार्य डॉक्टर एसपी सिंह कहते हैं कि किसी भी वायरस का संक्रमण हमेशा कुछ संक्रमित खानपान से या सांस लेने पर नाक के रास्ते होता है। कोरोना वायरस तो ऐसा खतरनाक है कि गले तक पहुंचने का कोई भी मौका नहीं छोड़ रहा है।
प्रयागराज, जेएनएन। मास्क को लेकर तमाम लोगों में अब भी भ्रम की स्थिति है। कुछ लोगों का मानना है कि इसे सरकार की गाइडलाइन में जरूरी करके दबाव देकर लगवाया जा रहा है। मास्क लगाने में कोई शर्म, उलझन तो कोई बेवजह का काम महसूस करते हैं। हालांकि यह लोगों का वहम ही है, क्योंकि इसके फायदे बहुत हैं। वरिष्ठ चिकित्सकों की मानें तो मास्क ही अब तक का ऐसा बैरियर है जो कोरोना के संक्रमण को रोकता है क्योंकि वायरस मुंह और नाक के रास्ते ही गले तक पहुंचते हैं।
मास्क लगाने से परहेज कतई न करें
कोरोना वायरस ने ऐसी परिस्थिति ला दी है, जिसमें सभी को मास्क लगाना ही पड़ रहा है। घर या बाहर स्वस्थ लोग कपड़े, मेडिकेटेड और एन 95 मास्क लगा रहे हैं। वहीं जो इससे परहेज कर रहे हैं, संक्रमित होने पर उन्हें अस्पताल में भर्ती होकर ऑक्सीजन, बाइपेप या वेंटिलेटर का मास्क लगाना पड़ रहा है।
मोतीलाल नेहरू मेडिकल कालेज के प्रधानाचार्य की सलाह
मोतीलाल नेहरू मेडिकल कालेज के प्रधानाचार्य डॉक्टर एसपी सिंह कहते हैं कि किसी भी वायरस का संक्रमण हमेशा कुछ संक्रमित खानपान से या सांस लेने पर नाक के रास्ते होता है। कोरोना वायरस तो ऐसा खतरनाक है कि गले तक पहुंचने का कोई भी मौका नहीं छोड़ रहा है और गले में एक बार पहुंचने पर फेफड़े को पूरी तरह नष्ट कर दे रहा है इसी से लोगों की जान जा रही है।
डॉक्टर मनोज माथुर का टिप्स
एसआरएन के वरिष्ठ फिजिशियन डॉक्टर मनोज माथुर का कहना है कि वार्ड में कोरोना मरीजों के बीच चिकित्सा कार्य के दौरान भी डॉक्टरों को मास्क ही बचाता है। इसलिये मास्क सभी के लिए जरूरी हो जाता है।
डॉक्टर दो मास्क लगाने की दे रहे सलाह
कोरोना को शरीर के भीतर प्रवेश करने से आप ही रोक सकते हैं मास्क पहनकर। डॉक्टर कहते हैं कि अब दो मास्क लगाएं और इस प्रोटोकाल का घर में भी पालन हो, कोरोना से तभी सेफ रहेंगे।