गंगा के जलस्तर में कमी पर बहाव अब भी तेज, बाढ़ से बचाने के लिए माघ मेला के हर सेक्टर में लगाए जा रहे क्रेट

गंगा का जलस्तर बढऩे से अब तक काफी नुकसान हो चुका है। बाढ़ रोकने के लिए लगाई गई हजारों बोरियां बह गई। साथ ही बल्लियां भी उखड़ कर बह गईं। स्नान घाटों पर पानी भर गया और कुछ घाट बह भी गए। कुछ संस्थाओं की जमीन भी कट गई।

By Ankur TripathiEdited By: Publish:Wed, 20 Jan 2021 09:49 PM (IST) Updated:Wed, 20 Jan 2021 09:49 PM (IST)
गंगा के जलस्तर में कमी पर बहाव अब भी तेज, बाढ़ से बचाने के लिए माघ मेला के हर सेक्टर में लगाए जा रहे क्रेट
गंगा के जलस्तर में बुधवार से कमी दर्ज की गई, हालांकि अभी पानी का बहाव तेज है।

प्रयागराज, जेएनएन। गंगा के जलस्तर में बुधवार से कमी दर्ज की गई, हालांकि अभी पानी का बहाव तेज है। इसके चलते दिक्कतें कम नहीं हुई हैं। अधिकारियों के लिए राहत की बात तो है लेकिन कटान रोकने की चुनौती अभी भी बनी हुई है। बुधवार को दिनभर कटान रोकने के प्रयास किए जाते रहे। 

बुधवार को जलस्तर में तीन सेंटीमीटर की आई कमी

गंगा का जलस्तर बढऩे से अब तक काफी नुकसान हो चुका है। बाढ़ रोकने के लिए लगाई गई हजारों बोरियां बह गई। साथ ही बल्लियां भी उखड़ कर बह गईं। स्नान घाटों पर पानी भर गया और कुछ घाट बह भी गए। इसकी वजह से कुछ संस्थाओं की जमीन भी कट गई। सबसे ज्यादा कटान ओल्ड जीटी और गंगोली शिवाला पांटून पुल के बीच में हुआ। इन्हीं दोनों पुलों के बीच सेक्टर चार में दंडी बाड़ा और आचार्य बाड़ा को बसाया गया था। कटान हुआ तो इनकी जमीनें कट गई। पुलों के दोनों ओर कटान रोकने के लिए बल्लियां गाड़कर बोरियां लगा दी गई हंै। माघ मेला के अन्य स्नान पर्व तक ऐसी और दिक्कत न आए इसलिए अब हर घाट के आसपास बालू भरी बोरियां रख दी गई हैं। इसके अलावा जेसीबी से नदी का किनारा काटकर वहां पर बल्लियां गाड़ी जा रही हैं। बाढ़ खंड के अधिशासी अभियंता ब्रजेश कुमार ने बताया कि बुधवार को जलस्तर तीन सेंटीमीटर कम हुआ है। लेकिन अभी पानी का बहाव तेज है।

मेलाधिकारी से की सोमेश्वर महादेव घाट खुलवाने की मांग

सोमेश्वर सेवा ट्रस्ट के सदस्यों ने सोमेश्वर महादेव घाट खुलवाने के लिए मेलाधिकारी को ज्ञापन सौंपा। संस्था के लोगों ने बताया कि मंदिर होने के कारण लोग यहां स्नान करने के बाद जलभर कर जलाभिषेक करते हैं। बड़ी संख्या में लोग दर्शन के लिए भी आते हैैं। साल भर इस घाट पर स्नान करने वालों की अच्छी खासी भीड़ रहती है। ज्ञापन देने वालों में महंत राजेन्द्र पुरी, बजरंग पुरी, रामपाल तिवारी, राजेश पुरी, रामचंद्र पुरी आदि मौजूद थे।

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