भाजपा ने राष्ट्रीयता व लोकतंत्र दोनों को बचाने का प्रयास किया : विधायक नीलम करवरिया Prayagraj News

विधायक नीलम करवरिया ने कहा कि भाजपा सिर्फ कुर्सी की राजनीति नहीं करती बल्कि यह जन सेवा राष्ट्र सेवा के साथ संपूर्ण मानवता की सेवा करने वाली पार्टी है। यह दल सभी की मदद के लिए हमेशा अग्रिम मोर्चे पर खड़ा रहता है। इसका दारोमदार प्रत्येक कार्यकर्ता स्वयं उठाता है।

By Rajneesh MishraEdited By: Publish:Thu, 08 Apr 2021 12:01 PM (IST) Updated:Thu, 08 Apr 2021 12:01 PM (IST)
भाजपा ने राष्ट्रीयता व लोकतंत्र दोनों को बचाने का प्रयास किया : विधायक नीलम करवरिया Prayagraj News
विधायक नीलम करवरिया ने कहा कि सुशासन और पारदर्शिता हम सब का लक्ष्य है।

प्रयागराज,जेएनएन। भाजपा देश ही नहीं पूरी दुनिया की सब से बड़ी पार्टी बन चुकी है। यह सभी के लिए प्रेरणा स्रोत है। भारतीय संदर्भों में बात करें तो इस दल ने राष्ट्रीयता और लोकतंत्र दोनों को बचाया है। यह विचार मेजा विधायक नीलम करवरिया ने उरुवा मंडल के मदरा गांव वार्ड 71 में हुई बैठक में रखे। बैठक में पंचायत चुनाव पर भी मंथन हुआ। विधायक नीलम करवरिया ने कहा कि भाजपा सिर्फ कुर्सी की राजनीति नहीं करती बल्कि यह जन सेवा, राष्ट्र सेवा के साथ संपूर्ण मानवता की सेवा करने वाली पार्टी है। यह दल सभी की मदद के लिए हमेशा अग्रिम मोर्चे पर खड़ा रहता है। इसका दारोमदार प्रत्येक कार्यकर्ता स्वयं उठाता है। इस दल के जुड़े लोग आम आदमी की जिंदगी को सरल बनाने का प्रयास करते हैं। हमारी सरकार भी इसके लिए कृत संकल्पित है। केंद्र और प्रदेश की सरकार ने अब तक मजदूरों और किसानों के लिए जितनी भी योजनाएं बनाई हैं वह पहले कभी नहीं हुआ। किसानों और मजदूरों ने भी इस दल को सिर आंखों पर बैठाया है। इसके चलते देशभर में भाजपा की सरकारें बन रही हैं।

राजनीतिक विचारधारा को भी संवेदनाओं के साथ जोड़ रहे

मेजा विधायक नील करवरिया ने कहा कि यह दल राजनीति इसलिए नहीं करता है कि कुर्सी मिले। मानवीय मूल्यों को जीवंत करने, लोगों के जीवन स्तर को ऊपर उठाने व राष्ट्रीय अस्मिता व संस्कृति को भी बचाए रखने के लिए भाजपा कृत संकल्पित है। सुशासन और पारदर्शिता हम सब का लक्ष्य है। इसमें न तो परिवारवाद है न किसी अन्य तरह का वाद। यदि है तो वह राष्ट्रवाद। छोटे से छोटे कार्यकर्ता को भी संगठन में पूरा सम्मान मिलता है। वह यदि योग्य है तो उसे बड़े से बड़ा पद मिलता है। इसका उदाहरण प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी स्वयं हैं। पं. दीन दयाल उपाध्याय, डॉ. श्यामा प्रसाद मुखर्जी, अटल बिहारी वाजपेयी, डॉ. मुरली मनोहर जोशी सरीखे जितने भी नाम हैं सभी अपनी योग्यता के बल पर आगे बढ़े। इस मौके पर राजेश शर्मा, संजय केशरी, कुलदीप मिश्रा, वेदानंद मिश्रा, प्रेम शंकर, पुष्कर आनंद मिश्रा आदि मौजूद रहे।

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