Allahabad University: पांच जुलाई से कक्षाएं नहीं लेने वाले शिक्षक ध्यान दें, इस प्रक्रिया का करें इस्तेमाल
इलाहाबाद विश्वविद्यालय के ज्वाइंट रजिस्ट्रार की ओर से भेजे गए सर्कुलर कोरोना पीडि़त अथवा पूर्व में कोरोना से संक्रमित शिक्षक मेडिकल लीव एप्लीकेशन प्रापर चैनल के जरिए रजिस्ट्रार आफिस में जमा कर दें। सेहत खराब होने पर आकस्मिक अवकाश के लिए आवेदन करने में कतई देरी न की जाए।
प्रयागराज, जागरण संवाददाता। इलाहाबाद केंद्रीय विश्वविद्यालय (इविवि) के शिक्षकों के लिए नया सर्कुलर जारी किया गया है। कुलपति प्रोफेसर संगीता श्रीवास्तव के निर्देश पर ज्वाइंट रजिस्ट्रार की तरफ से सभी विभागाध्यक्षों के अलावा सभी संकायों के डीन और सभी सेंटर के निदेशक को यह सर्कुलर भेज भी दिया गया है। पांच जुलाई से ड्युटी नहीं ज्वाइन करने वाले शिक्षकों के लिए यह आदेश जारी किया गया है।
लीव एप्लीकेशन रजिस्ट्रार आफिस में जमा करें
इलाहाबाद विश्वविद्यालय के ज्वाइंट रजिस्ट्रार की ओर से सभी विभागाध्यक्षों के अलावा संकायों के डीन के साथ सभी सेंटर निदेशकों को भेजे गए सर्कुलर में यह कहा गया है। इसमें कहा गया है कोरोना पीडि़त अथवा पूर्व में कोरोना से संक्रमित शिक्षक मेडिकल लीव एप्लीकेशन प्रापर चैनल के जरिए रजिस्ट्रार आफिस में जमा कर दें। सेहत खराब होने पर आकस्मिक अवकाश के लिए आवेदन करने में कतई देरी न की जाए।
नई व्यवस्था के तहत शिक्षकों अब लगानी पड़ती है हाजिरी
इविवि समेत संघटक कालेजों के शिक्षकों के लिए नई व्यवस्था भी लागू की जा चुकी है। इसके मुताबिक यदि बगैर सूचना दिए तीन दिन से अधिक गायब रहे तो इसे गंभीरता से लेते हुए कार्रवाई भी की जा सकती है। इसके अलावा शिक्षकों को अनिवार्य तौर पर रजिस्टर में हाजिरी भी लगाने को कहा गया था। इसकी निगरानी का जिम्मा चारों संकायों के डीन को सौंपा गया है। कुलपति के निर्देश पर रजिस्ट्रार प्रोफेसर एनके शुक्ल की तरफ से इस आशय का नोटिफिकेशन जारी किया गया था।
डीन के पास अहम जिम्मा
रजिस्ट्रार की तरफ से जारी नोटिफिकेशन के मुताबिक कुलपति के निर्देश पर सभी सभी संकायों के डीन से अपील किया गया था कि वह विभागों के अलावा सेंटर का भौतिक निरीक्षण करें। इसके बाद रजिस्ट्रार दफ्तर में इसकी रिपोर्ट भी नियमित सौंपें। इसके अलावा यह भी कहा गया है कि डीन हाजिरी रजिस्टर का भी भौतिक सत्यापन करें। सभी विभागों के अध्यक्ष और सेंटर के निदेशक से इस व्यवस्था में सहयोग करने को कहा गया था।