लिव इन रिलेशन में रह रहे युगल को दी जाय सुरक्षा, इलाहाबाद हाई कोर्ट का निर्देश
पुलिस को याचियों को सुरक्षा प्रदान करने का निर्देश देते हुए कहा कि वे लिव-इन-रिलेशनशिप में थे लेकिन बाद में उन्होंने एक-दूसरे से शादी कर लिया है। इसलिए सर्वोच्च न्यायालय द्वारा पूर्व में दिए गए आदेशों के मद्देनजर वे सुरक्षा के हकदार हैं।
प्रयागराज, जेएनएन। इलाहाबाद हाईकोर्ट ने लिव इन रिलेशनशिप में रह रहे बालिग युगल को सुरक्षा प्रदान करने का निर्देश दिया है। याचिका घरवालों से उत्पीडऩ की आशंका पर दाखिल की गई थी। यह आदेश न्यायमूर्ति डा. केजे ठाकर एवं न्यायमूर्ति दिनेश पाठक की खंडपीठ ने लिव-इन-रिलेशनशिप में रह रहे बदायूं निवासी कल्पना (परिवर्तित नाम) तथा अन्य की याचिका पर शनिवार को दिया है।
सुरक्षा का हकदार है युगल
पुलिस को याचियों को सुरक्षा प्रदान करने का निर्देश देते हुए कहा कि वे लिव-इन-रिलेशनशिप में थे लेकिन बाद में उन्होंने एक-दूसरे से शादी कर लिया है। इसलिए सर्वोच्च न्यायालय द्वारा पूर्व में दिए गए आदेशों के मद्देनजर वे सुरक्षा के हकदार हैं। न्यायालय ने यह भी कहा कि इससे पहले हमने लिव-इन-रिलेशन में रह रहे एक युगल की याचिका खारिज कर दी थी क्योंकि उनमें एक याची पहले से विवाहित थी। जो हिंदू विवाह अधिनियम के प्रविधान के विपरीत है। कहा कि हम लिव-इन-रिलेशनशिप के खिलाफ नहीं हैं।