Jagran Effect: ई-टेंडर में खेल करने वाले नगर निगम प्रयागराज के बाबू का 30 साल बाद बदला पटल
ई-टेंडर में खेल की शिकायत एक ठेकेदार ने नगर आयुक्त से की थी। कंप्यूटर आपरेटर और वरिष्ठ लिपिक पर गड़बड़ी के आरोप लगाए गए थे। मुख्य अभियंता को जांच सौंपी गई थी। जांच में प्रथम दृष्टया दोषी मिलने पर संविदा पर कार्यरत कंप्यूटर आपरेटर को निकाल दिया गया था
प्रयागराज, जागरण संवाददाता। नगर निगम के जनकार्य विभाग में ई-टेंडर में गड़बड़ी करने के मामले में वरिष्ठ लिपिक को बुधवार को हटा दिया गया। पटल परिवर्तन करते हुए उन्हें जोन तीन (कटरा) कार्यालय भेज दिया गया। कनिष्ठ लिपिक को भी पर्यावरण विभाग में भेज दिया गया। तीन और लिपिकों का भी पटल परिवर्तन किया गया है।
एक ठेकेदार ने नगर आयुक्त से की थी शिकायत
जनकार्य विभाग के ई-टेंडर में खेल की शिकायत एक ठेकेदार ने नगर आयुक्त से की थी। उसके द्वारा कंप्यूटर आपरेटर और वरिष्ठ लिपिक पर गड़बड़ी करने के आरोप लगाए गए थे। मामले में मुख्य अभियंता को जांच सौंपी गई थी। जांच में प्रथम दृष्टया दोषी मिलने पर संविदा पर कार्यरत कंप्यूटर आपरेटर को निकाल दिया गया था। बुधवार को नगर आयुक्त कार्यालय द्वारा जारी आदेश में जनकार्य विभाग के वरिष्ठ लिपिक पंकज सूरी को जोन तीन, कनिष्ठ लिपिक विनोद कुमार कुशवाहा को पर्यावरण विभाग, पर्यावरण विभाग के कनिष्ठ लिपिक मनीष कुमार जनकार्य विभाग, जोन तीन में कार्यरत कनिष्ठ लिपिक राम मूरत को रेकार्ड विभाग और इस विभाग में तैनात कनिष्ठ लिपिक फैजुर्रहमान को स्वास्थ्य विभाग भेजा गया है। आदेश में इन कर्मचारियों का स्थानांतरण प्रशासनिक व्यवस्था एवं निगम के हित में करने की बात कही गई है। लेकिन, माना यह जा रहा है कि वरिष्ठ लिपिक को ई-टेंडर में गड़बड़ी के प्रकरण में हटाया गया है। नगर आयुक्त द्वारा स्थानांतरिक कर्मचारियों को आदेश मिलने के बाद तत्काल अपने योगदान की जानकारी संबंधित जोनल अधिकारी अथवा विभागाध्यक्ष को देने के लिए कहा गया है। आदेश की अवहेलना करने पर नियमानुसार कार्रवाई करने के लिए भी कहा गया है।