हाथरस में जानलेवा हमले में युवक को दस साल की सजा

पर जिला एवं सत्र न्यायाधीश पंचम रेखा सिंह ने जान लेवा हमले के मामले में एक युवक को दोषी करार दिया है। साथ ही दस हजार रुपया का अर्थदंड धरा है। जिसे अदा न करने पर अतिरिक्त कारावास काटना होगा।

By Sandeep SaxenaEdited By: Publish:Wed, 21 Oct 2020 06:37 PM (IST) Updated:Wed, 21 Oct 2020 06:37 PM (IST)
हाथरस में जानलेवा हमले में युवक को दस साल की सजा
जान लेवा हमले के मामले में एक युवक को दोषी करार दिया है।

हाथरस, जेएनएन :  अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश पंचम रेखा सिंह ने जान लेवा हमले के मामले में एक युवक को दोषी करार दिया है। साथ ही दस हजार रुपया का अर्थदंड धरा है। जिसे अदा न करने पर अतिरिक्त कारावास काटना होगा। कारागार में बिताई गई अवधि सजा में समायोजित की जाएगी।

यह है मामला

अभियोजन पक्ष के अनुसार कोतवाली सदर में मीरा पत्नी पप्पू निवासी गली नंबर एक भूरापीर ने रिपोर्ट दर्ज कराते हुए कहा कि घटना वाले दिन दोपहर ढाई बजे के लगभग गली का रहने वाला प्रदीप उर्फ गटुआ पुत्र किशोरी लाल शराब के नशे में आया। वह गली में हुरदंग करने लगा। इस दौरान वह उसके घर पर आ गया और अश्लील छीटाकशी करने लगा। इस बात की जानकारी उसने अपने पति को दी तो पति पप्पू ने इससे मना करते हुए छीटाकशी का विरोध किया। इसी बात के कुपित होकर गटुआ ने जान से मारने की नीयत से चाकू निकालकर पप्पू को घोंप दिया। जिस कारण पप्पू घायल हो दिया। घायल को उपचार के लिए जिला अस्पताल लाया गया। जहां से उसे अलीगढ़ रेफर कर दिया। इस मामले की रिपोर्ट पुलिस ने विभिन्न धाराओं के तहत दर्ज की। वहीं प्रदीप उर्फ गटुआ के खिलाफ आरोप पत्र भी अदालत में दाखिल कर दिया। यह मामला अपर सत्र न्यायाधीश पंचम की अदालत में विचाराधीन था।

जुर्माना न देने पर अतिरिक्‍त कारावास

अभियोजन पक्ष की ओर से पैरवी नील कमल कुलश्रेष्ठ ने की और आरोप सिद्ध करने में सफल रहे। न्यायाधीश रेखा सिंह ने बुधवार को अपना आदेश सुनाते हुए प्रदीप उर्फ गटुआ का धारा 307 के तहत दस वर्ष के कठोर कारावास की सजा सुनाई है। पांच हजार रुपया का अर्थदंड भी धरा है। जिसे अदा न करने पर दो माह का अतिरिक्त कारावास काटना होगा। धारा 325 के तहत सात वर्ष का कठोर कारावास व चार हजार का अर्थदंड, धारा 294 के तहत पांच सौ रुपया व धारा 4/ 25 आयुध अधिनियम के तहत छह माह का कारावास व पांच सौ रुपया का अर्थदंड धरा है। जिसे अदा न करने पर दस दिन का अतिरिक्त कारावास काटना होगा। सभी सजाएं साथ-साथ चलेगी।

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