अलीगढ़ में मजदूर की हत्‍या, शव खेत में फेंका

मडराक थाना क्षेत्र के गांव खेड़िया ख्वाजा वुद्धा निवासी महीपाल सिंह लोधी (47) पुत्र कमल सिंह के मेहनत मज़दूरी कर परिवार का पालन पोषण करते थे। उनके परिवार में पत्नी दो बेटे जयकिशन शिवा व आशा काजल समेत चार बच्चे हैं।

By Sandeep Kumar SaxenaEdited By: Publish:Thu, 22 Jul 2021 01:14 PM (IST) Updated:Thu, 22 Jul 2021 01:14 PM (IST)
अलीगढ़ में मजदूर की हत्‍या, शव खेत में फेंका
महिपाल का शव मथुरा रोड स्थित एक बाजरे के खेत में मिला है।

अलीगढ़, जेएनएन। मडराक इलाके से  16 जुलाई से लापता अधेड़ उम्र के व्यक्ति का शव मथुरा रोड स्थित एक बाजरे के खेत में मिला है। शव पूरी तरह सड़ गल चुका था। सूचना पर सीओ इगलास व इलाका पुलिस मौके पर पहुंच गई मृतक के स्वजनों ने कपड़े के आधार पर शिनाख्त महीपाल 47 वर्षीय के रूप में कर ली। पुलिस ने शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है।

घर वापस नहीं लौटे

मडराक थाना क्षेत्र के गांव खेड़िया ख्वाजा वुद्धा निवासी महीपाल सिंह लोधी (47) पुत्र कमल सिंह के मेहनत मज़दूरी कर परिवार का पालन पोषण करते थे। उनके परिवार में पत्नी दो बेटे जयकिशन, शिवा, व आशा, काजल समेत चार बच्चे हैं। मृतक के बेटे जयकिशन के अनुसार 16 जुलाई की देर रात महीपाल सिंह घर से बिना बताए निकल गए। जब से घर वापस नहीं लौटे गुरुवार की सुबह करीब दस बजे मथुरा रोड स्थित गांव नौगवां अर्जुनपुर जाने वाले रास्ते पर आसना चौकी के निकट बाजरे के खेत में कुछ बच्चे अपने बाजरे के खेत में से निराश्रित गोवंशों को निकाल रहे थे कि तभी उनकी नजर खेत में पड़े शव पर पड़ी। बच्चों ने दौड़कर यह बात गांव में बताई तो वहां से लोग दौड़ पड़े। सूचना पर सीओ इगलास अशोक कुमार व एसओ मडराक राजीव कुमार पहुंच गए और शव की शिनाख्त लोगों से कराई। इसी बीच मृतक के बड़े बेटे जयकिशन ने कपड़े के आधार पर शिनाख्त महीपाल अपने पिता के रूप में कर ली।  एसओ मडराक राजीव कुमार ने बताया कि शव पूरी तरह सड़ गल गया है। शव लगभग पांच या छह दिन पुराना है। पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने पर ही मौत का कारण स्पष्ट हो सकेगा। 

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