कांग्रेस में गुटबाजी चरम पर, प्रियंका से की जिलाध्यक्ष की शिकायत Aligarh news

पंचायत चुनाव में मिली करारी हार के बाद कांग्रेस में गुटबाजी अब चरम पर हैं। जिलाध्यक्ष चौ. सुरेंद्र सिंह वालियान व महानगर अध्यक्ष परवेज अहमद की शिकायत का सिलसिला जारी है। पूर्व प्रदेश सचिव मनोज सक्सेना के बाद अन्य कई पार्टी के कार्यकर्ता खुलकर विरोध में आ गए हैं।

By Anil KushwahaEdited By: Publish:Sun, 16 May 2021 12:08 PM (IST) Updated:Sun, 16 May 2021 12:11 PM (IST)
कांग्रेस में गुटबाजी चरम पर, प्रियंका से की जिलाध्यक्ष की शिकायत Aligarh news
पंचायत चुनाव में मिली करारी हार के बाद कांग्रेस में गुटबाजी अब चरम पर हैं।

अलीगढ़, जेएनएन ।  पंचायत चुनाव में मिली करारी हार के बाद कांग्रेस में गुटबाजी अब चरम पर हैं। जिलाध्यक्ष चौ. सुरेंद्र सिंह वालियान व महानगर अध्यक्ष परवेज अहमद की शिकायत का सिलसिला जारी है। पूर्व प्रदेश सचिव मनोज सक्सेना के बाद अन्य कई पार्टी के कार्यकर्ता खुलकर विरोध में आ गए हैं। शनिवार को वरिष्ठ नेताओं की बैठक हकीम सराय स्थित कैंप कार्यालय पर हुई। जहां रायशुमारी के बाद एक पत्र पार्टी की राष्ट्रीय महासचिव व प्रदेश प्रभारी प्रियंका गांधी वाड्रा को भेजा गया।

पार्टी में मनमानी के चलते बनायी दूरी

पूर्व जिला समन्वयक राजीव लीडर व आनंद पाल सिंह ने कहा कि जिला व महानगर के अध्यक्षों की मनमानी के चलते कार्यकर्ता संगठन से दूरी बना रहे हैं। इस लिए पार्टी सभी अलीगढ़ जिला पंचायत सदस्य के 47 वार्डें पर प्रत्याशी नहीं उतार सकी। बड़ी मुश्किलों से मात्र 24 वार्ड पर ही पार्टी समर्थित उम्मीदवार चुनावी समर पर उतर सके हैं। लीडर व आनंदपाल सिंह ने आरोप लगाया है कि पार्टी स्तर से 24 इन सभी प्रत्याशियों को आर्थिक मदद की गई थी। प्रियंका को भेजी शिकायत में दावा किया गया है कि इनमें से अधिकांश के पास न तो पैसा पहुंचा है ना ही प्रचार समग्री। बैठक में विनोद पांडे, आनंदपाल सिंह मनोज सक्सेना, ब्रजराज सिंह राणा, एम एल पापा, हेमंत शर्मा टोटो, आजम खान, आसिफ सैफी, ब्रजेश वाल्मीकि, राकेश बंसल, सुधीश वार्ष्णेय गुड्डू, दीपक चौधरी,रवि महाजन, प्रदीप अग्रवाल, महेश शर्मा, सलीम क़ुरैशी, सरताज अल्वी नीलम माहौर आदि थे।

सात सदस्यीय कमेटी का गठन 

जिला व शहर अध्यक्ष विरोधी गुट ने खुद की एक सात सदस्यीय कमेटी बनाई है। जिसका सर्वसम्मति से ब्रजराज सिंह राणा को संयोजक, एमएल पापा, आनंदपाल सिंह, हेमंत शर्मा टोटो, आजम खान, सतवीर चौहान, आसिफ सैफी को सह संयोजक बनाया गया है। यह कमेटी आठ बिंदुओं पर काम करेगी। साथ ही संगठन को कमजोर करने वाले बिंदुओं को उजागर करेगी। इनमें- जिला पंचायत अलीगढ़ चुनाव में 47 प्रत्याशियों की जगह मात्र 24 प्रत्याशी क्यों लड़ाये गए। प्रत्याशियो को तय करने का मानक क्या था। प्रत्याशी को तय करने वाली कमेटी में कौन-कौन कांग्रेसजन शामिल थे ।प्रत्येक प्रत्याशी को बनाने में किसने नाम सुझाए और उनको लड़ाने की जिम्मेदारी किस किस की थी। उत्तर प्रदेश कांग्रेस कमेटी से जो आर्थिक सहायता व चुनाव सामग्री प्रत्याशियों पर पहुंचनी थी, क्या उन तक यह पहुंची। अगर पहुंची तो कितनी आर्थिक मदद व चुनावी सामग्री पहुंची। आर्थिक सहायता व चुनाव सामग्री कमेटी के जिम्मेदार कौन-कौन लोग थे क्या उन्होंने पूर्ण जिम्मेदारी निभाई कि नहीं। जिला पंचायत सदस्य चुनाव में पार्टी के वरिष्ठ नेता व जुझारू कार्यकर्ताओं की उपेक्षा की गई। जिले के जिन वार्डों में कांग्रेस प्रत्याशी नहीं उतारे क्या, उसमें किसी दल से अंदर खाने सांठ-गांठ तो नहीं की गई। इसकी जांच कर सबूत जुटाए जाएंगे। बिना हाईकमान की सहमति से अन्य दल को समर्थन किया गया यह किसका सुझाव था किस के कहने पर समर्थन दिया गया।

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