आनलाइन पढ़ाई शुरू होते ही ई-विद्या एप बनेगी माध्यमिक विद्यार्थियों का सहारा, जानिए कैसे? Aligarh news

कोरोना संक्रमण के बढ़ते प्रकोप के चलते माध्यमिक विद्यालयों को बंद रखा गया है। साथ ही आफलाइन व आनलाइन दोनों माध्यमों से पढ़ाई कराने पर रोक के निर्देश हैं। ऐसे में शिक्षक विद्यार्थियों को आनलाइन माध्यम से भी पढ़ाई कराने में अक्षम हैं।

By Anil KushwahaEdited By: Publish:Sun, 09 May 2021 04:11 PM (IST) Updated:Sun, 09 May 2021 05:46 PM (IST)
आनलाइन पढ़ाई शुरू होते ही ई-विद्या एप बनेगी माध्यमिक विद्यार्थियों का सहारा, जानिए कैसे?  Aligarh news
पिछले कोरोना संक्रमण काल में ई-विद्या एप को लांच किया गया था।

अलीगढ़, जेएनएन ।  कोरोना संक्रमण के बढ़ते प्रकोप के चलते माध्यमिक विद्यालयों को बंद रखा गया है। साथ ही आफलाइन व आनलाइन दोनों माध्यमों से पढ़ाई कराने पर रोक के निर्देश हैं। ऐसे में शिक्षक विद्यार्थियों को आनलाइन माध्यम से भी पढ़ाई कराने में अक्षम हैं। विद्यालय जाकर वीडियो रिकार्डिंग करना शिक्षकों के लिए भी घातक हो सकता है। इसलिए आनलाइन पढ़ाई पर रोक लगाई गई है। मगर कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर से राहत मिलते ही जब विद्यालयों को खोला जाएगा तो विद्यार्थी भले ही कालेज न आएं उनकी पढ़ाई के लिए ई-विद्या एप तैयार रहेगी। पिछले कोरोना संक्रमण काल में ई-विद्या एप को लांच किया गया था। इसके जरिए शिक्षकों के तैयार किए गए वीडियो विद्यार्थियों तक पहुंचते थे। अब कोराेना की दूसरी लहर के बाद भी अफसर ई-विद्या एप का ही सहारा लेंगे।

एनसीईआरटी के लिए भी वीडियो तैयार करेंगे शिक्षक

माध्यमिक शिक्षा विभाग के शिक्षकों के शिक्षण वीडियो एक बार फिर से राष्ट्रस्तर पर भी प्रसारित होंगे। शिक्षक अब एनसीईआरटी के लिए भी वीडियो तैयार करेंगे। पहले यूपी के शिक्षकों के वीडियो यूपी बोर्ड के विद्यार्थियों के लिए ही चलाए जाते थे। अब एनसीईआरटी शिक्षकों को पाठ व विषय बताएगी, उनके आधार पर शिक्षकोंं काे वीडियो तैयार करने होंगे। ये वीडियो राष्ट्रस्तर पर प्रसारित किए जाएंगे। दूरदर्शन व स्वयंप्रभा पर इन वीडियो को प्रसारित किया जाएगा। स्वयंप्रभा चैनल का नाम बदलकर पीएम ई-विद्या चैनल कर दिया गया है।

नौरंगीलाल राजकीय इंटर कालेज में होगी व्यवस्था

डीआइओएस डा. धर्मेंद्र कुमार शर्मा ने बताया कि, वीडियो तैयार करने के लिए नौरंगीलाल राजकीय इंटर कालेज में व्यवस्था की जाएगी। पहले की तरह व्यवस्थाएं रहेंगी। बस आनलाइन शिक्षण की राह खुलने का इंतजार किया जा रहा है। कक्षा नौवीं से 12वीं तक के विद्यार्थियों को इसका लाभ मिलेगा। जिनका कोर्स पूरा नहीं होगा उनको इसी के माध्यम से कोर्स भी पूरा कराया जाएगा। अभी भी कुछ शिक्षक जिनके घर पर बेहतर सुविधाएं व कमरे में एकांत का माहौल है वे कालेजों के लिए वीडियो तैयार कर रहे हैं। मगर अब शिक्षक राष्ट्रस्तर पर प्रसारित करने के लिए वीडियो तैयार करेंगे। कक्षावार वीडियो का प्रसारण किया जाएगा। बताया कि जिले में बेहतर वीडियो बनाने वाले शिक्षकों की सूची तैयार की जाएगी। इनके नाम बोर्ड को भेजे जाएंगे। इन सरकारी चैनलों पर वीडियो प्रसारण से पहले एनसीईआरटी से अनुमोदन लेना पड़ता है। राज्यस्तर पर टीम गठित की जाएगी जो शिक्षकों के वीडियो का निरीक्षण कर उसे एनसीईआरटी के पास भेजती है या रिजेक्ट करती है।

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