मदर्स डे पर कोरोना ने छीन लिया मां से इकलौता लाल Aligarh news

कोरोना के काल ने इंसान को कितना विवश कर दिया है अब अंतिम संस्कार करने वाला कोई नहीं मिल रहा है। विवश होकर एक मां को अपने बेटे को मुखाग्नि देनी पड़ी। एकलौते बेटे मां ने अंतिम संस्कार किया तो मानों मां का कलेजा फट आया।

By Anil KushwahaEdited By: Publish:Tue, 11 May 2021 04:26 PM (IST) Updated:Tue, 11 May 2021 04:26 PM (IST)
मदर्स डे पर कोरोना ने छीन लिया मां से इकलौता लाल Aligarh news
कोरोना काल में अब अंतिम संस्कार करने वाला कोई नहीं मिल रहा है।

अलीगढ़, जेएनएन ।  कोरोना के काल ने इंसान को कितना विवश कर दिया है अब अंतिम संस्कार करने वाला कोई नहीं मिल रहा है। विवश होकर एक मां को अपने बेटे को मुखाग्नि देनी पड़ी। एकलौते बेटे मां ने अंतिम संस्कार किया तो मानों मां का कलेजा फट आया। नुमाइश मैदान स्थित श्मशान गृह में जिसे भी पता चला उसकी आंखे भर आईं। हर कोई बोल पड़ा हे प्रभु बस अब और नहीं। इससे बड़ी विडंबना क्या होगी कि एक मां को अपने बेटे को मुखाग्नि देनी पड़ी।

मदर्स डे के दिन हुई बेटे की मौत

नौ मई को मदर्स डे पर लोग अपनी मां को तमाम दुआएं दे रहे थे। मां का आशीर्वाद ले रहे थे। मगर, विष्णुपुरी निवासी दर्शन गुप्ता अपने 32 वर्षीय एकलौते बेटे का जीवन बचाने के लिए प्रभु से प्रार्थना कर रही थीं। दर्शन गुप्ता के पति गिरधर गुप्ता का करीब डेढ़ वर्ष पहले निधन हो गया था। परिवार में पुत्र अंकित पुत्रवधू नम्रता और चार वर्षीय नाती पुण्य हैं। चार दिन पहले अंकित की कुछ तबीयत खराब हो गई थी। काेरोना की जांच कराई तो रिपोर्ट पाजिटिव आई। अंकित को वरुण ट्रामा में भर्ती कराया गया था। यहां रविवार रात नौ बजे उनकी तबीयत अचानक बिगड़ गई। इसके बाद उन्हें वेंटीलेटर पर ले लिया गया। जहां सोमवार तड़के चार बजे उनकी मौत हो गई। अंकित का पुत्र चार वर्ष का है, इसलिए मां दर्शन ने स्वयं बेटे को स्वयं मुखाग्नि देने का निर्णय लिया। नुमाइश मैदान में सुबह सात बजे उन्होंने अंतिम संस्कार किया। एक परिचित के अंतिम संस्कार में पहुंचे भाजपा नेता डा. राजीव अग्रवाल ने कहा कि काल का ऐसा क्रूर चक्र उन्होंने जीवन में कभी नहीं देखा था। दृश्य देखकर आंखे भर आईं।

chat bot
आपका साथी