डीएल पाने को आवेदक परेशान, एजेंसी की लापरवाही से रहे आरटीओ में भटक

परिवहन विभाग ने डीएल सिस्टम को पारदर्शी बनाने के लिए आनलाइन प्रक्रिया पूरी कराने के साथ ही स्थायी लाइसेंस को आवेदकों के घर भेजने की योजना चला रखी है। इससे आवेदकों के सही नाम व पते का भी सत्यापन हो जाता है।

By Anil KushwahaEdited By: Publish:Mon, 06 Dec 2021 04:02 PM (IST) Updated:Mon, 06 Dec 2021 04:05 PM (IST)
डीएल पाने को आवेदक परेशान, एजेंसी की लापरवाही से रहे आरटीओ में भटक
डीएल के लिए आवेदकों को आरटीओ दफ्तर में चक्कर लगाते हुए देखा जा सकता है।

अलीगढ़, जागरण संवाददाता। आरटीओ में लर्निंग ड्राइविंग लाइसेंस के बाद स्थायी लाइसेंस बनवाने वाले आवेदकों को डाक विभाग के जरिए ड्राइविंग लाइसेंस उपलब्ध कराने की'घर भेजो योजना' राहत देने की बजाय परेशानी का कारण बन रही है। सभी आवश्यक प्रक्रिया पूर्ण होने के बाद भी आवेदकों काे डीएल सात दिनों के अंदर उनके घरों तक नहीं पहुंच पा रहा है। ट्रैफिक पुलिस भी डीएल बनने की रसीद को स्वीकार नहीं कर रही है। ऐसे में बिना डीएल के लोगों का चालान कट रहा है और उन्हें जुर्माना भी अदा करना पड़ रहा है। इससे आवेदकों को आरटीओ दफ्तर में चक्कर लगाते हुए देखा जा सकता है।

डीएल नहीं पहुंच रहा घर

परिवहन विभाग ने डीएल सिस्टम को पारदर्शी बनाने के लिए आनलाइन प्रक्रिया पूरी कराने के साथ ही स्थायी लाइसेंस को आवेदकों के घर भेजने की योजना चला रखी है। इससे आवेदकों के सही नाम व पते का भी सत्यापन हो जाता है। पहले आवेदक को खुद के नाम व पते लिखे लिफाफे के साथ ही स्पीड पोस्ट की टिकट भी आवेदन के साथ जमा करनी पड़ती थी, जिससे आवेदक को समय से डीएल उनके पते पर आसानी से उपलब्ध हो सके। अब आरटीओ ने इसके लिए आउटसोर्स निजी कंपनी से करार कर रखा है। जिसका जिम्मा आवेदकों को समय से डीएल पहुंचाने का है, फिर भी आवेदकों की शिकायत है कि एक सप्ताह में भी डीएल उपलब्ध नहीं हो पा रहा है।

हेल्पलाइन नंबर से भी नहीं मिल रही मदद

आरटीओ में प्रक्रिया पूरा होने पर लखनऊ मुख्यालय से डीएल की प्रिंटिंग व डिस्पैच होने के बाद एजेंसी उसे स्पीड पोस्ट से आवेदक के घर तक भेजती है। एजेंसी के जारी हेल्पलाइन नंबर पर भी शिकायत के बाद समाधान नहीं हो रहा है। नगला राजू गांव के रवि शर्मा ने बताया कि मैंने 20 नवंबर को ही ड्राइविंग लाइसेंस की सारी प्रक्रिया पूरी कर दी थी। डीएल अब तक घर नहीं पहुंचा है। सारसौल के मुकेश ने बताया कि 22 नवंबर को डीएल बनवाने को आवेदन किया था। अब तक ड्राइविंग लाइसेंस बनकर घर नहीं पहुंचा है।

इनका कहना है

डीएल घर तक पहुंचाने में एजेंसी काे क्या दिक्कतें आ रही हैं इस बारे में पता लगाकर आवेदकों की समस्या का समाधान कराया जाएगा ।

- केडी सिंह गौर, आरटीओ प्रशासन

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