पूर्व ब्‍लाक प्रमुख रेनू शर्मा की मौत के बाद पोस्‍टमार्टम हाउस के बाहर शासन-प्रशासन मुर्दाबाद के लगे नारे, जिद पर अड़े स्‍वजन

अलीगढ़ जागरण संवाददाता। जहरीली शराब से हुई मौतों के में जेल में बंद शराब माफिया ऋषि शर्मा व उसके पुत्र कुनाल को पेरोल पर छोेड़ने की मांग को लेकर शनिवार सुबह स्‍वजन पर परिचितों ने पोस्‍टमार्टम हाउस में धरना शुरू कर दिया।

By Anil KushwahaEdited By: Publish:Sat, 04 Dec 2021 02:35 PM (IST) Updated:Sat, 04 Dec 2021 02:36 PM (IST)
पूर्व ब्‍लाक प्रमुख रेनू शर्मा की मौत के बाद पोस्‍टमार्टम हाउस के बाहर शासन-प्रशासन मुर्दाबाद के लगे नारे, जिद पर अड़े स्‍वजन
पोस्टमार्टम हाउस के बाहर पुलिस ल सरकार के खिलाफ प्रदर्शन करती महिलाएं।

अलीगढ़, जागरण संवाददाता। जहरीली शराब से हुई मौतों के में जेल में बंद शराब माफिया ऋषि शर्मा व उसके पुत्र कुनाल को पेरोल पर छोेड़ने की मांग को लेकर शनिवार सुबह स्‍वजन पर परिचितों ने पोस्‍टमार्टम हाउस में धरना शुरू कर दिया। यह धरना जहरीली शराब प्रकरण के मुख्य आरोपित ऋषि शर्मा की पत्नी पूर्व ब्लाक प्रमुख रेनू शर्मा की शुक्रवार देररात मौत के बाद शुरू हुआ है। रेनू शर्मा जेल में बंदी थी। तबीयत खराब पर उपचार के दौरान जेएन मेडिकल में मौत हो गई थी। खास बात यह है कि पिता-पुत्र को पेरोल पर छोड़ने की मांग बरौली विधनसभा क्षेत्र के भाजपा विधायक दलवीर भी कर चुके हैं।  

शासन प्रशासन मुर्दाबाद के लगे नारे

पोस्‍टमार्टम हाउस के बाद लोगों ने रेनू शर्मा को न्याय दो, शासन प्रशासन मुर्दाबाद के नारे लगाए। लोगों की मांग है कि झूठे मुकदमे वापस लिय जायं। छह लोगों की पैरोल मांगी गई है। इसके लिए न्यायालय में आवेदन किया गया है। स्वजन का कहना है कि जब तक लोग रिहा नहीं हो जाते, तब तक पंचनामा पर दस्तखत नहीं करेंगे। पोस्टमार्टम हाउस ब्राह्मण समाज के लोग भारी संख्या में मौजूद हैं। पूर्व विधायक गुड्डू पंडित भी आकर पीएम हाउस के बाहर धरने पर बैठ गए हैं। उधर, सांसद सतीश गौतम, बरौली विधायक दलवीर सिंह भी मौजूद हैं। लेकिन अभी तक कोई सहमति नहीं बनी है।

यह हैै मामला

जहरीली शराब के चलते लोधा क्षेत्र के करसुआ में 28 मई से मौतों का सिलसिला शुरू हुआ था। अगले ही दिन खैर, लोधा, जवां थाना क्षेत्र के भी अलग-अगल कई गांव से भी मौतों के मामले सामने आए। चार पांच दिनों में जिलेभर में करीब 104 लोगों की मौत हो गई। पुलिस ने प्रकरण को लेकर खैर, लोधा, पिसावा, गभाना, जवां, महुआखेड़ा, क्वार्सी थानों में 33 मुकदमे दर्ज किए थे। इसमें जवां थाना में दर्ज हुए मुकदमे में माफिया ऋषि, मुनीष के अलावा रेनू शर्मा आदि नामजद थे। इधर, जेल में रेनू शर्मा की तबीयत खराब होने लगी। बीते दिनों एडीजे नौ की अदालत में रेनू पर आरोप तय किए गए। तब भी उन्हें जेएन मेडिकल कालेज से एंबुलेंस से अदालत लाया गया था। इसी आधार पर हाईकोर्ट में जमानत अर्जी दायर की गई थी। इसमें रेनू को नेफ्रिटिक (गुर्दे की बीमारी), कार्डियक (दिल), न्यूरोलाजिकल व डायबिटिक मेलोटिस से पीड़ित बताया गया था। इस पर हाईकोर्ट ने जमानत अर्जी मंजूर की थी। इसके बाद साजिश की धारा शेष रह गई थी, जो स्थानीय अदालत ने मंजूर कर ली। फिलहाल जमानतियों के सत्यापन हो रहा था। जल्द ही रेनू की रिहाई होने वाली थी। लेकिन, देररात करीब 12 बजे रेनू की तबीयत बिगड़ गई। उन्हें मेडिकल ले जाया गया, जहां डाक्टरों ने मृत घोषित कर दिया। रेनू की मौत की सूचना पर लोगों का इकट्ठा होना शुरू हो गया। इसके बाद लोगों ने हंगामा शुरू कर दिया। हालांकि सीओ तृतीय श्वेताभ पांडेय मौके पर पहुंच गए और लोगों को शांत किया। वरिष्ठ जेल अधीक्षक विपिन कुमार मिश्रा ने रेनू की मौत की पुष्टि की है। जेल प्रशासन के मुताबिक, जेल में दाखिल होने से पहले से ही वह बीमार थीं। दवा चल रही थी। जेल में दाखिल होने के बाद जेएन मेडिकल कालेज में उपचार चला। यहां दो बार भर्ती रहीं। गुरुवार सुबह ही मेडिकल से डिस्चार्ज होकर आई थीं।

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