स्कूल खुलने पर मिलेगी आधुनिकता की सौगात, ये है योजना Aligarh News
जब बच्चे स्कूल आएंगे तो उनको एलईडी इंटरनेट से युक्त स्मार्ट क्लास में पढ़ाई कराने की व्यवस्था की जा रही है। हालांकि कुछ विद्यालयों में ये व्यवस्था पहले से ही शुरू है। सभी स्कूलों में ये व्यवस्था करने के लिए बड़े पैमाने पर काम किया जा रहा है।
अलीगढ़, जेएनएन। बेसिक शिक्षा परिषद के कक्षा एक से आठवीं तक के स्कूलों में कोरोना संक्रमण काल के चलते आफलाइन व आनलाइन माध्यम दोनों ही तरह से पढ़ाई पर ब्रेक लगा हुआ है। मगर कहते हैं कि हर मुश्किल वक्त के बाद अच्छे समय की दस्तक भी चौखट पर होती है। अब कोरोना संक्रमण काल से राहत मिलने पर जब सरकारी स्कूलों को दोबारा खोला जाएगा तो विद्यार्थियों को आधुनिकता की सौगात भी मिलेगी। हालांकि पहले कोरोना काल के वक्त ही इस दिशा में कदम बढ़ाया गया था। नए सत्र से बच्चों को आधुनिकता के साथ पढ़ाई कराने का प्लान भी था मगर कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर ने कामों को अटका दिया।
बीएसएनएल बिछा रहा नेट का जाल
कोरोना संक्रमण के बाद जब बच्चे स्कूल आएंगे तो उनको एलईडी, इंटरनेट से युक्त स्मार्ट क्लास में पढ़ाई कराने की व्यवस्था की जा रही है। हालांकि कुछ विद्यालयों में ये व्यवस्था पहले से ही शुरू है। मगर सभी स्कूलों में ये व्यवस्था करने के लिए बड़े पैमाने पर काम किया जा रहा है। अब कक्षा एक से आठ तक के सरकारी स्कूलों को हाईटेक बनाने के लिए कदम उठाया गया है। इसके तहत स्कूलों में विद्यार्थियों को इंटरनेट व एलईडी की सुविधा मुहैया कराई जाएगी। भारत नेट योजना के तहत ग्रामीण क्षेत्रों में फाइबर आप्टिकल लाइन बिछाई जा चुकी हैं। बीएसएनएल के कुछ टावर सरकारी स्कूलों की जमीन पर भी आ रहे हैं। वहां वाईफाई कनेक्शन लेने में खास दिक्कत नहीं आएगी। जहां टावर स्कूल में नहीं आ रहे वहां केबिल बिछवाकर वाईफाई की सुविधा ली जाएगी। कोविड-19 के चलते में पढ़ाई बाधित होने के बाद विद्यार्थियों को आनलाइन शिक्षा मुहैया कराने के लिए ये कदम उठाया जा रहा है। कोरोना काल से राहत के बाद जब आनलाइन पढ़ाई शुरू होगी तो इसमें काफी मदद मिलेगी।
ज्यादा छात्र आनलाइन शिक्षा से नहीं जुड़ सके
जिले में 1776 प्राइमरी व 733 जूनियर हाईस्कूल हैं। इनमें करीब 2.48 लाख विद्यार्थी पढ़ते हैं। कोविड-19 वायरस के प्रकोप के चलते आनलाइन शिक्षा से छात्र-छात्राओं को जोडऩे की कवायद पिछले संक्रमण काल के दौरान की गई थी। लेकिन सभी विद्यार्थियों के पास इंटरनेट व स्मार्टफोन न होने से ज्यादा छात्र आनलाइन शिक्षा से नहीं जुड़ सके। मात्र 35 से 40 हजार विद्यार्थी ही जुड़ सके। अब कक्षाओं में एलईडी टीवी व वाईफाई होने से विद्यार्थियों को सरकर की ओर से जारी चैनल पर मुहैया कराई जा रही पाठ्य सामग्री भी मिल सकेगी। कक्षा एक से 12वीं तक के लिए चैनल पर शिक्षण सामग्री मुहैया कराई जा रही है।
आदेश आने पर लागू होगी व्यवस्था
बीएसए डा. लक्ष्मीकांत पांडेय ने बताया कि, ग्रामीण क्षेत्र में भारत नेट के तहत लाइन बिछाने का काम किया गया है। पूर्व में शासनस्तर की बैठक में सरकारी स्कूलों में एलईडी लगाने की योजना पर चर्चा हुई थी। जिलों की रिपोर्ट भी मांगी गई थी। एलईडी के लिए ग्रांट व अन्य औपचारिकताओं के संबंध में आदेश आने के बाद ये व्यवस्था भी स्कूलों में होगी।