Live Rescue Operation in Agra: आगरा में साढ़े नौ घंटे बाद बोरवैल से सकुशल निकला मासूम, फरिश्ते बनकर पहुंचे सेना और एनडीआरएफ के जवान
Live Rescue Operation in Agra फतेहाबाद के निबाेहरा के धरियाई गांव में सोमवार सुबह हुआ हादसा। रेस्क्यू को पहुंच रही फायर ब्रिगेड और पुलिस की टीम। एनडीआरएफ टीम ने बोरबेल में जाल डालकर खींचा मासूम। मासूम के हौंसले से कम समय में हुआ आपरेशन सफल।
आगरा, जागरण संवाददाता। 130 फीट गहरे बोरवैल में मासूम के गिरने के बाद सभी की सांसें अटक गई थी। मासूम 95 फीट पर बोरबेल में अटका हुआ था।कुछ घंटे में ही सेना और एनडीआरएफ के जवान फरिश्ते बनकर गांव में पहुंच गए। डेढ़ घंटे का रेस्क्यू आपरेशन मासूम के हौंसल से सफल हो गया और साढ़े नौ घंटे बाद मासूम ने खुली हवा में सांस ली। सेना की एंबुलेंस पहले से ही तैयार खड़ी थी। इससे उसे अस्पताल के लिए टीम लेकर रवाना हो गई।
धरियाई गांव निवासी किसान छोटेलाल के घर के सामने ही खेतों की सिंचाई को सबमर्सिवल पिछले दिनों खराब हो गई थी। छोटेलाल ने दो दिन पहले इसमें से पाइप खिंचवा लिए थे। एक फीट की परिधि में सबमर्सिवल का 130 फीट गहरा बोरवैल है। पाइप निकालने के बाद इसे खुला छोड़ दिया।
सोमवार सुबह 7.30 बजे छोटेलाल का तीन वर्षीय बेटा शिवा खेलते समय इसमें गिर गया। साथ में जानकारी होने के बाद खलबली मच गई। स्थानीय लोगों ने बोरवैल में रस्सी डालकर उसकी गहराई और बच्चे की प्रतिक्रिया का अंदाजा लगाया। 95 फीट पर जाकर रस्सी अटक गई। खींचने पर खिंच नहीं रही थी। दोपहर तक सेना और एनडीआरएफ की टीम भी गांव में पहुंच गई।
सेना ने जेसीबी से खोदाई कराने का काम शुरू कर दिया। सीसीटीवी कैमरे से बोरबेल में फंसे बच्चे की निगरानी की जा रही थी। दोपहर तीन बजे एनडीआरएफ की टीम ने बोरबेल में विशेष प्रकार का जाल रस्सी के सहारे फंसा दिया। साथ ही बच्चे से उसके स्वजन की बात कराई। पानी, ग्लूकोज और बिस्कुट भी रस्सी के सहारे से नीचे भेजकर खिलाए।शाम पांच बजे बच्चे को बाहर निकाल लिया गया। बच्चा सकुशल बताया जा रहा है।फिलहाल उसे एंबुलेंस से हास्पिटल ले जाया जा रहा है।