Copied Content: आंबेडकर विवि में एक साल में 100 में से 15 थीसिस में मिला प्लेगरिज्म

आंबेडकर विश्वविद्यालय के उरकुंड साफ्टवेयर से पकड़ में आ रही नकल। 10 फीसद प्लेगरिज्म ही मान्य उससे ज्यादा हो तो लौटा दी जाती है थीसिस। प्लेगरिज्म की जांच सेंट्रल लाइब्रेरी में होती है। साफ्टवेयर पर शोध का कंटेंट अपलोड किया जाता है।

By Prateek GuptaEdited By: Publish:Wed, 20 Oct 2021 11:56 AM (IST) Updated:Wed, 20 Oct 2021 11:56 AM (IST)
Copied Content: आंबेडकर विवि में एक साल में 100 में से 15 थीसिस में मिला प्लेगरिज्म
आंबेडकर विवि आगरा की सेंट्रल लाइब्रेरी। यहां थीसिस की जांच की जाती है।

आगरा, प्रभजोत कौर। डा. भीमराव आंबेडकर विश्वविद्यालय में पिछले एक साल में 100 में से लगभग 15 थीसिस यानी शोध पत्र प्लेगरिज्म की गिरफ्त में आए हैं। विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (यूजीसी) के मानकों के अनुसार 10 फीसद से कम प्लेगरिज्म होने पर थीसिस को स्वीकार कर लिया जाता है। वर्ना शोधार्थी को थीसिस को लौटा कर उसमें संशोधन करने को कहा जाता है। प्लेगरिज्म वाली थीसिस की स्थिति यह है कि शोधार्थियों से कई-कई बार संशोधन कराना पड़ रहा है।

डाक्टर आफ फिलोसफी(पीएचडी) अवार्ड होने से पहले शोधार्थी की थीसिस की जांच होती है। यह जांच शोध में प्लेगरिज्म के स्तर की जांच के लिए होती है। यूजीसी के निर्देशानुसार विश्वविद्यालय भी पीएचडी थीसिस को आनलाइन शोधगंगा पर अपलोड करता है। थीसिस में प्लेगरिज्म पकड़ने के लिए उरकुंड साफ्टवेयर का इस्तेमाल किया जाता है। पिछले एक साल में इस साफ्टवेयर के माध्यम से 100 थीसिस की जांच की गई, जिसमें से लगभग 15 थीसिस में प्लेगरिज्म 10 फीसद से ज्यादा मिला है।

ऐसे होती है जांच

प्लेगरिज्म की जांच सेंट्रल लाइब्रेरी में होती है। साफ्टवेयर पर शोध का कंटेंट अपलोड किया जाता है। अपलोड होने के 15 मिनट बाद ही साफ्टवेयर रिसर्च से प्लेगरिजम का फीसद निकाल देता है। यह साफ्टवेयर थीसिस में चोरी का फीसद बताने के साथ किन किताबों, वेबसाइट या शोधपत्रों से सामग्री ली है, उनका नाम भी बता देता है।

क्या है प्लेगरिज्म

हिंदी में इसे साहित्यिक चोरी के नाम से जाना जाता है। साहित्यिक चोरी का मतलब होता है किसी दूसरे के द्वारा लिखे हुए आर्टिकल्स, फोटो या वीडियो को चोरी कर लेना।

...तो थीसिस अमान्य

पीएचडी थीसिस में 20 प्रतिशत से अधिक चोरी की सामग्री होने पर उसे मान्य नहीं किया जा रहा है।

होती है कार्रवाई भी

लाइब्रेरियन प्रो. मो. अरशद ने बताया कि जिन थीसिस में 10 फीसद से ज्यादा प्लेगरिज्म मिलता है, उन्हें शोधार्थी को वापस कर दिया जाता है। संशोधन करने के लिए समय भी दिया जाता है। 40 फीसद से ज्यादा प्लेगरिज्म मिलने पर शोधार्थी को बदलाव करने को कहा जाता है। जब तक बदलाव नहीं किया जाता, तब तक पीएचडी अवार्ड नहीं की जाती है।

थीसिस में 10 फीसद तक प्लेगरिज्म की अनुमति है। उससे अधिक प्लेगरिज्म मिलने पर थीसिस वापस कर दी जाती है। कट-कापी-पेस्ट वाली शोध मान्य नहीं है।

- प्रो. अजय तनेजा, डीन रिसर्च, डा. भीमराव आंबेडकर विश्वविद्यालय

प्लेगरिज्म मिलने पर यूजीसी के नियम

शोधार्थियों के लिए -10 फीसद तक प्लेगरिज्म पर दंड का प्रावधान नहीं है। जबकि 10 से 40 फीसद के बीच साहित्यिक चोरी पाए जाने पर छह महीने के भीतर संशोधित शोधपत्र पेश करना होगा। 40 से 60 फीसद समानता मिलने पर एक साल के लिए संशोधित पेपर जमा करने से रोक दिया जाएगा। इससे ऊपर के मामले में पंजीकरण रद्द कर दिया जाएगा।

पर्यवेक्षकों के लिए - 10 से 40 फीसद समानता मिलने पर थीसिस वापस लेने को कहा जाता है। 40 से 60 फीसद समानता पर दो साल की अवधि के लिए पर्यवेक्षण करने से रोक दिया जाएगा और एक वार्षिक वेतन वृद्धि के अधिकार से वंचित किया जाएगा।

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