यहा ध्वजारोहण के लिए बनती वेटिंग लिस्ट
आगरा के अजीतनगर के तिरंगा चौक पर रोजाना होता ध्वजारोहण रोजाना आमंत्रित किए जाते हैं अतिथि एक हजार दिन हो चुके पूरे
आगरा (संजय रुस्तगी) आप आगरा आएं तो तिरंगा चौक जरूर जाएं। यहा सुबह का नजारा देशभक्ति का जोश भरने वाला होता हैं। रोजाना ध्वजारोहण और हर रोज नए अतिथि। उत्साह किसी राष्ट्रीय पर्व जैसा ही होता है। राष्ट्रगान पर बाजार थम सा जाता है। 'जय हो' की गूंज दूर तक सुनी जा सकती है। शहर के कभी अनजाने से क्षेत्र अजीतनगर में इस उत्सव को अब एक हजार दिन से ज्यादा हो चुके हैं। खास बात यह है कि तिरंगा चौक पर ध्वजारोहण करने के लिए वेटिंग लिस्ट बनती है। एक हजार दिन की अवधि में किसी अतिथि से दोबारा ध्वजारोहण नहीं कराया गया है।
यह सुनने में जितना रोचक लगता है, उससे अधिक देखने में नया अनुभव देता है। बाजार खुलने का मतलब व्यापार शुरू होना होता है, लेकिन यहा तो बाजार खुलने के साथ तिरंगे को सम्मान की तैयारी शुरू होती है। इसकी शुरुआत करते समय बाजार के लोगों ने कुछ और ही सोचा था। वे अजीत नगर चौराहे को गंदगी से मुक्ति की युक्ति खोज रहे थे। कई बार सफाई कराई गई। पेड़-पौधे लगाकर सेल्फी प्वाइंट बनाया गया। पर बात बनी नहीं। 2017 में बाजार की 22 सदस्यीय कमेटी के कुछ लोग बाघा बार्डर पर रिट्रीट सेरेमनी देखने गए। जिसकी चर्चा अन्य लोगों से हुई। असर यह हुआ कि 26 जनवरी, 2018 को बाजार में भी ध्वजारोहण का निर्णय ले लिया गया। तिरंगा अजीत चौक पर ही लगाया गया। ध्वजारोहण के बाद यहा पर किसी ने कूड़ा नहीं डाला। रात तक सफाई बरकरार थी। लोग तो यही चाहते थे। इसके लिए कुछ दिन ध्वजारोहण करने की सोची गई। यह भावना राष्ट्रभक्ति में ऐसी बदली कि ध्वजारोहण बाजार की परंपरा ही बन गई। हर रोज सुबह 10 बजे ध्वजारोहण करना और शाम को नियमानुसार ध्वज उतारने का सिलसिला बना हुआ है, जिसे देखने आसपास के बाजारों के लोग भी आते है। हर दिन नए अतिथि
ध्वजारोहण के लिए रोजाना किसी न किसी अतिथि को आमंत्रित किया जाता है। 21 अक्टूबर, 2020 को ध्वजारोहण को एक हजार दिन पूरे हो गए हैं, लेकिन अभी तक किसी अतिथि को दोहराया नहीं गया है। भारतीय क्रिकेट टीम के सदस्य दीपक चाहर, महिला टीम की दीप्ति शर्मा, पूनम यादव, हाकी खिलाड़ी जगवीर सिंह सहित तमाम जाने-माने लोग ध्वजारोहण समारोह के अतिथि रह चुके हैं। ध्वजारोहण के लिए एडवास बुकिंग
ध्वजारोहण के लिए शहर में ही आसपास शहरों की संस्थाओं में खासा उत्साह रहता है। स्थिति यह है कि एक-एक महीने की एडवास बुकिंग रहती है। अजीतनगर बाजार कमेटी के अध्यक्ष राजेश यादव का कहना है कि फीरोजाबाद, शिकोहाबाद, धौलपुर, मथुरा आदि शहरों से संस्थाएं ध्वजारोहण के लिए आती हैं, इसके लिए एडवास बुकिंग रहती है। कोरोना काल में संस्थाएं कम आईं, लेकिन अब वेटिंग लिस्ट बढ़ती जा रही है। वर्तमान में सात फरवरी तक की वेटिंग हैं। लाकडाउन में भी ध्वजारोहण का क्रम बना रहा, तब ड्यूटी करने वाले सरकारी अधिकारियों को ध्वजारोहण के लिए बुलाया गया। पर्यटक भी आते हैं ध्वजारोहण करने
अजीतनगर बाजार कमेटी के मनोज नोतनानी के मुताबिक दूरदराज से ताजनगरी आने वाले पर्यटक ध्वजारोहण की इच्छा व्यक्त करते हैं। कई लोग फोन भी करते हैं। बीते दिनों कश्मीर व इंदौर के लोगों ने भी आकर ध्वजारोहण किया है।