Mukhtar Ansari: बाहुबली मुख्तार अंसारी की हुई वीडियो कांफ्रेंसिंग पर आगरा में पेशी, डिस्चार्ज पर बहस
Mukhtar Ansari बांदा जेल में निरुद्ध अंसारी वीडियो कांफ्रेंसिंग से हुई पेशी अब 22 सितंबर को होगी सुनवाई। उन्मोचित प्रार्थना पत्र पर अदालत में बचाव पक्ष व अभियोजन में हुई बहस। केंद्रीय कारागार में निरुद्ध होने के दौरान बैरक से मिले थे मोबाइल और बुलेट प्रूफ जैकेट।
आगरा, जागरण संवाददाता। बांदा जेल में निरुद्ध मुख्तार अंसारी की मंगलवार को विशेष न्यायाधीश एमपी/एमएलए कोर्ट में वीडियो कांफ्रेंसिंग से पेशी हुई। अंसारी की ओर अपने खिलाफ लगाए गए चार्ज से डिस्चार्ज करने के लिए प्रस्तुत प्रार्थना पत्र पर बचाव पक्ष और अभियोजन ने अदालत के सामने अपनी दलीलें पेश कीं। जिसके बाद अदालत ने आदेश के लिए 22 सितंबर की तारीख नियत की है।
विधायक मुख्तार अंसारी वर्ष 1999 में केंद्रीय कारागार में निरुद्ध थे। उनकी बैरक से 18 मार्च 1999 को पुलिस-प्रशासन के अधिकारियों को मोबाइल व बुलेट प्रूफ जैकेट मिली थी। मामले में जगदीशपुरा थाने में अंसारी के खिलाफ आपराधिक साजिश और धोखाधड़ी के आरोप में मुकदमा दर्ज किया गया था। पुलिस ने अंसारी के खिलाफ चार्जशीट अदालत में दाखिल की थी।
अंसारी की ओर से प्रस्तुत प्रार्थना पत्र पर उसके अधिवक्ता प्रकाश नारायण शर्मा ने बहस की। अधिवक्ता ने कहा कि अंसारी से कोई मोबाइल बरामद नहीं हुआ। डीएम और एसएसपी ने शासन के इशारे पर दूसरे व्यक्ति का मोबाइल रख दिया। जबकि बुलेट प्रूफ जैकेट जेल से कोर्ट जाते समय सुरक्षा के लिए पहनी थी। वहीं सहायक जिला शासकीय अधिवक्ता शशि शर्मा ने विरोध करते हुए कहा कि मुख्तार अंसारी एक बहुत ही कुख्यात, शातिर व बाहुबली विधायक है। जेल से आपराधिक गतिविधियां फाेन द्वारा संचालित कर जा रही थीं।
जिसका प्रमाण मोबाइल से प्राप्त काल डिटेल हैं। बुलेटप्रूफ जैकेट बिना डीएम की अनुमति के नहीं पहनी जा सकती। मगर, बिना अनुमति के अंसारी बुलेटप्रूफ जैकेट पहने हुए थे। बचाव पक्ष और अभियोजन की बहस सुनने के बाद विशेष न्यायाधीश एमपी/एमएलए कोर्ट नीरज गौतम ने आदेश के लिए 22 सितंबर की तारीख नियत की है।