छत्रपति शिवाजी म्यूजियम के संचालन व देखरेख को होगा टेंडर

आगरा जागरण संवददाता।ताजनगरी में निर्माणाधीन छत्रपति शिवाजी महाराज म्यूजियम की देखरेख व संचाल

By JagranEdited By: Publish:Sat, 05 Dec 2020 07:45 AM (IST) Updated:Sat, 05 Dec 2020 07:45 AM (IST)
छत्रपति शिवाजी म्यूजियम के संचालन व देखरेख को होगा टेंडर
छत्रपति शिवाजी म्यूजियम के संचालन व देखरेख को होगा टेंडर

आगरा, जागरण संवददाता।ताजनगरी में निर्माणाधीन छत्रपति शिवाजी महाराज म्यूजियम की देखरेख व संचालन के लिए टेंडर किया जाएगा। म्यूजियम के संचालन व देखरेख को बिजनेस प्लान मांगे जाने पर आर्किटेक्ट द्वारा एक्सप्रेशन आफ इंटरेस्ट (ईओआइ) के आधार पर फर्मों व कंपनियों से आवेदन मांगे जाने का सुझाव दिया है। राजकीय निर्माण निगम ने इसका प्रस्ताव पर्यटन निदेशालय, लखनऊ को भेजा है।

शिल्पग्राम के नजदीक विद्युत विभाग की सीमेंटेड पोल फैक्ट्री की 5.9 एकड़ जमीन पर म्यूजियम बनाया जा रहा है। 14 सितंबर को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने म्यूजियम का नामकरण छत्रपति शिवाजी महाराज म्यूजियम करने के निर्देश दिए थे, जिसके बाद पर्यटन विभाग ने इसका आदेश जारी किया था। बजट नहीं मिलने से म्यूजियम का काम जनवरी से बंद है। दरअसल, पिछले वर्ष 21 सितंबर को उप्र के पर्यटन मंत्री डा. नीलकंठ तिवारी ने निर्माणाधीन म्यूजियम का निरीक्षण कर भवन के औचित्य पर सवाल उठाए थे। 16 जनवरी को लखनऊ में हुई बैठक में उन्होंने आर्किटेक्ट फर्म आर्कोहम को म्यूजियम की देखरेख व संचालन को बिजनेस प्लान उपलब्ध कराने के निर्देश दिए थे। आर्किटेक्ट फर्म ने कार्यदायी संस्था राजकीय निर्माण को म्यूजियम के लिए ईओआइ के आधार पर इच्छुक फर्मों व कंपनियों से आवेदन मांगने का सुझाव दिया है। इस सुझाव को राजकीय निर्माण निगम द्वारा पर्यटन निदेशालय, लखनऊ को भेजा गया है। इससे अब म्यूजियम को बजट मिलने की उम्मीद जगी है।

94 करोड़ रुपये हो चुके हैं खर्च

म्यूजियम उप्र का पहला सरकारी भवन है, जिसमें प्री-कास्ट टेक्निक उपयोग में लाई गई है। योजना की स्वीकृत लागत 141.89 करोड़ रुपये है। यहां 70 फीसद काम हो चुका है, जिस पर 94 करोड़ रुपये खर्च हो चुके हैं। जीएसटी लागू होने व विलंब के चलते रिवाइज कास्ट बढ़कर 172 करोड़ रुपये हो चुकी है, लेकिन उसे स्वीकृति नहीं मिली है।

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