नगर निगम की जमीन कब्जाने पर आस्था सिटी सेंटर को नोटिस

खसरा नंबर 2079 में है दो हजार वर्ग मीटर के आसपास जमीन सात दिनों के भीतर सभी दस्तावेज उपलब्ध कराने के आदेश खसरा नंबर 1739 में कब्जा जमाए लोगों को भी भेजा गया नोटिस 1200 वर्ग मीटर है जमीन

By JagranEdited By: Publish:Sat, 19 Jun 2021 09:28 PM (IST) Updated:Sat, 19 Jun 2021 09:28 PM (IST)
नगर निगम की जमीन कब्जाने पर आस्था सिटी सेंटर को नोटिस
नगर निगम की जमीन कब्जाने पर आस्था सिटी सेंटर को नोटिस

जागरण संवाददाता, आगरा : नगर निगम प्रशासन ने जोंस मिल में अपनी जमीन को लेने का प्रयास शुरू कर दिया है। जीवनी मंडी रोड स्थित आस्था सिटी सेंटर को नोटिस जारी किया गया है। यमुना नदी की तरफ की जमीन से कब्जा हटाने और जमीन से संबंधित सभी दस्तावेज दिखाने के लिए सात दिनों की मोहलत दी गई है। निर्धारित अवधि में दस्तावेज न दिखाने पर आगे की कार्रवाई की शुरू की जाएगी। यह जमीन खसरा नंबर 2079 में दो हजार वर्ग मीटर है। वहीं खसरा नंबर 1739 में 1200 वर्ग मीटर जमीन है। जमीन पर छह लोग कब्जा जमाए हुए हैं। इन्हें भी नोटिस भेजा गया है। जमीन खाली करने के लिए कहा गया है। जोंस मिल के 23 खसरों में 33 हेक्टेअर जमीन है। अधिकांश जमीन सरकारी है। एडीएम प्रोटोकाल हिमांशु गौतम इसकी जांच कर रहे हैं। अब तक सौ लोगों ने जमीन से संबंधित दस्तावेज उपलब्ध कराए हैं। प्रशासनिक जांच में मिली थी जमीन : एडीएम प्रशासन निधि श्रीवास्तव ने जोंस मिल प्रकरण की जांच की थी। आस्था सिटी सेंटर में नगर निगम की जमीन मिली थी। जांच में पाया गया कि वर्ष 2007 में रैंसी कंस्ट्रक्शन ने पांच हजार वर्ग मीटर जमीन की खरीद की। वर्ष 2008 में तत्कालीन तहसीलदार सदर ने दाखिल खारिज किया। जांच में गड़बड़ी मिलने के बाद वर्ष 2020 में तहसीलदार सदर प्रेमपाल सिंह ने दाखिल खारिज को निरस्त कर दिया। घटवासन में मिली 56 करोड़ की जमीन, नोटिस : घटवासन स्थित कमला नगर में नगर निगम की दस बीघा जमीन मिली है। यह जमीन 56 करोड़ रुपये की है। नगर निगम प्रशासन ने आवास समिति के अध्यक्ष और सचिव को नोटिस जारी किया है। आखिर जमीन का गलत तरीके से कैसे प्रयोग किया गया। वहीं निगम प्रशासन इलाहाबाद हाईकोर्ट में केस भी जीत चुका है। निगम प्रशासन जल्द ही जमीन पर कब्जा लेने जा रहा है। - आस्था सिटी सेंटर में नगर निगम की जमीन मिली है। जमीन को कब्जे में लेने के लिए नोटिस भेजा गया है। दस्तावेज मांगे गए हैं।

निखिल टीकाराम, नगरायुक्त

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