Sawan 2020: जानें सावन महीने से जुड़े हरे रंग का महत्व
सावन की शुरूआत होते ही प्रकृति हरे रंग की चादर में लिपटी नजर आने लगती हैं। तो आज हम सावन और इससे जुड़े हरे रंग के महत्व के बारे में जानेंगे।
जुलाई महीने से वर्षा ऋतु की शुरूआत होती है जिस वजह से चारों तरफ हरियाली छा जाती है। मैदान से लेकर पहाड़ तक हरियाली की चादर ओढ़ लेते हैं। प्रकृति के सौंदर्य का यह नजारा वाकई अद्भभुत होता है। सावन का महीना खुद को प्रकृति से जोड़ने का महीना होता है। इसलिए लोग हरा रंग पहन कर अपने आप को प्रकृति से जोड़ते हैं। जानेंगे सावन महीने से जुड़े हरे रंग के महत्व के बारे में...
सावन का दूसरा नाम ही हरियाली है। महिलाएं इस मौके पर मेंहदी लगाती हैं। हरी चूड़ियों के साथ हरे कपड़े भी पहनती हैं। हरा रंग सौभाग्य का रंग माना जाता है। सुहागिन महिलाएं हरी चूड़ियां पहनकर भोलेनाथ को प्रसन्न करती हैं और अपने सुहाग और परिवार के लिए सुख-समृद्धि की कामना करती हैं।
धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, सावन आने पर हर तरफ हरियाली छा जाती है। जो ना सिर्फ आंखों को खुश करती है बल्कि आपके मन को भी शांति प्रदान करती है। ऐसे में खुद को प्रकृति से जोड़े रखने के लिए आपको हरे रंग का वस्त्र और महिलाओं को हरे रंग की चूड़ियां जरूर पहननी चाहिए।
महिलाओं में सावन महीने का उत्साह और उमंग ज्यादा देखने को मिलता है। बागों में, खेतों में झूले लगाए जाते हैं महिलाएं खूब मस्ती करती हैं।
खुशहाल वैवाहिक जीवन से जुड़ा है यह रंग
जिस तरह लाल रंग एक सुहागिन औरत के जीवन में खुशियां और सौभाग्य लाता है ठीक उसी प्रकार हरा रंग भी सुहागनों के लिए बहुत मायने रखता है। इसलिए सावन के महीने में औरतें हरी चूड़ियां और वस्त्र पहनती हैं ताकि उन्हें शिव जी का आशीर्वाद प्राप्त हो जिससे उनके पति की आयु लंबी हो और उनके शादीशुदा जीवन में खुशहाली आए। दरअसल, भगवान शिव प्रकृत्ति के बीच ही रहते हैं. वहीं उनका निवास है। उन्हें जो बेल या धतूरा चढ़ाया जाता है वो भी हरे रंग का होता है, इसलिए हरा रंग उन्हें भाता है। ऐसी मान्यता है कि सावन में हरे रंग को पहनने से वे खुश होते हैं.
Pic credit- Pinterest