MS Bitta In Jodhpur: राजनीतिक पार्टियों को देशहित में सोचना चाहिएः एमएस बिट्टा
MS Bitta In Jodhpur एमएस बिट्टा ने सोमवार को जोधपुर में कहा कि राजनीतिक पार्टियों को निजी स्वार्थ को छोड़कर देश हित में सोचना चाहिए। देश प्रेम पहले स्तर पर होना चाहिए। कोई हमें छेड़े नहीं अन्यथा छोड़ेंगे नहीं।
जोधपुर, संवाद सूत्र। एंटी टेरेरिस्ट फ्रंट के अध्यक्ष एमएस बिट्टा ने पहली बार तालिबान पर अपने विचार रखते हुए कहा कि तालिबान के जुल्मों की कहानियां हम सुनते आए हैं और भी आज वे कहानियां सच होती दिखाई दे रही हैं। उन्होंने महाराजा रंजीत सिंह के दौर को याद करते हुए कहा कि उस समय भी तालिबान पूरे भारत में हिंदू धर्म के मंदिरों को नुकसान पहुंचाते थे और आतंक फैलाने का काम करते थे। ऐसे में राजनीतिक पार्टियों को निजी स्वार्थ को छोड़कर देश हित में सोचना चाहिए। देश प्रेम पहले स्तर पर होना चाहिए। कोई हमें छेड़े नहीं, अन्यथा छोड़ेंगे नहीं। वे सोमवार को जोधपुर प्रवास पर आए और पत्रकारों से मुखातिब हुए। उन्होंने कहा कि अनुच्छेद 370 ना हटता तो अफनागिस्तान जैसा हाल यहां भी हो जाता।
बिट्टा ने उन लोगों से कहा कि जो जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 हटाने के विरोध में हैं। उन्हें सोचना चाहिए कि अनुच्छेद 370 जम्मू-कश्मीर से नहीं हटा होता तो शायद आज यही स्थिति भारत में देखने को मिलती। अनुच्छेद 370 हटाने के बाद आज हमारा देश मुकम्मल आजाद हुआ है। 15 अगस्त व 26 जनवरी को पूरे जम्मू-कश्मीर में तिरंगे ही तिरंगे लहराए हैं। अब किसी तालिबानी की हिम्मत नहीं कि वे जम्मू-कश्मीर की तरफ आंख उठाकर भी देखे। तालिबान की सत्ता में आने के बाद पाकिस्तान में जिस तरह से जश्न मनाया जा रहा है, उस पर बिट्टा ने कहा कि पाकिस्तान पहले ही भारत के सामने घुटने टेक चुका है। अनुच्छेद 370 हटने के बाद भी पाकिस्तान कुछ नहीं कर पाया था, जिस तरह से हमारे प्रधानमंत्री ने कहा था हम किसी को छेड़ते नहीं कोई हमें छेड़े तो छोड़ते नहीं, अगर हमारी सीमाओं के सामने कोई देखेगा तो हम किसी को नहीं छोड़ेंगे चाहे वह तालिबान हो पाकिस्तान हो क्या चीन हो ।
आंतरिक सुरक्षा को लेकर सचेत रहें
बिट्टा ने कहा कि तालिबान की सत्ता के आने के बाद हमें सचेत रहने की आवश्यकता जरूर है। मेरी हिदायत है की सभी राजनीतिक पार्टियां को राष्ट्र्रीय सुरक्षा और राष्ट्र्रीय हित के लिए एकजुट होने कि आवश्यकता है। जिस तरह से तालिबान एक है, उसी तरह हमारी एकजुटता दिखाने की आवश्यकता है। वो तो सिर्फ 70000 हैं, हम तो करोड़ों की संख्या में हैं। जरूरत है तो राष्ट्र्र हित, राष्ट्र् सुरक्षा, अनुच्छेद 370 के मुद्दे पर सभी राजनीतिक पार्टियों को एकजुटता दिखाने की।