यूपी में बेरोजगारों के धरने पर आचार्य प्रमोद का अशोक गहलोत पर तंज, कहा-अपनी मुसीबत प्रियंका के गले में डालना उचित नहीं
Rajasthan बेरोजगारों के धरने पर आचार्य प्रमोद ने राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत को जिम्मेदार ठहराया है। उन्होंने ट्वीट कर सीएम गहलोत पर खुद की मुसीबत को प्रियंका गांधी के लगे में डालने का आरोप भी लगाया है।
जागरण संवाददाता, जयपुर। राजस्थान के बेरोजगारों का आंदोलन सियासी रंग लेने लगा है। राजस्थान के आंदोलनकारी बेरोजगार पिछले पांच दिन से उत्तर प्रदेश (यूपी) के लखनऊ में कांग्रेस के खिलाफ अनशन कर रहे हैं। बेरोजगारों ने उत्तर प्रदेश में कांग्रेस के खिलाफ प्रचार करने की घोषणा कर रखी है। इस मामले में कांग्रेस नेता आचार्य प्रमोद कृष्णम ने मुख्यमंत्री अशोक गहलोत को जिम्मेदार ठहराया है। उन्होंने ट्वीट कर सीएम पर खुद की मुसीबत को प्रियंका गांधी के लगे में डालने का आरोप भी लगाया है। उन्होंने कहा कि यूपी कांग्रेस मुख्यालय के बाहर धरना दे रहे राजस्थान के बेरोजगारों से मुख्यमंत्री को तत्काल बातचीत कर समस्या का समाधान करना चाहिए। अपनी मुसीबत को प्रियंका गांधी के गले में डाल देना उचित नहीं है।
गहलोत पर साधा निशाना
अब बेरोजगार आचार्य प्रमोद के ट्वीट को रिट्वीट कर सीएम से जल्द समाधान की मांग कर रहे हैं। उधर, राजस्थान एकीकृत बेरोजगार महासंघ के अध्यक्ष उपेन यादव ने कहा कि कांग्रेस ने चुनाव से पहले युवाओं से कई वादे किए थे, लेकिन गहलोत सरकार इन्हे पूरा नहीं कर रही है। ऐसे में बेरोजगारों को मजबूरी में कड़ाके की ठंड में यूपी में विरोध करना पड़ रहा है। यादव ने कहा कि अगर गहलोत सरकार बेरोजगारों से लिखित समझौता कर लगी तो हमारा अनशन खत्म हो जाएगा। अगर ऐसा नहीं किया जाता है तो कांग्रेस को यूपी और फिर 2023 में राजस्थान में नुकसान भुगतना पड़ेगा। बेरोजगार बृहस्पतिवार को मुरादाबाद में होने वाली प्रियंका गांधी की रैली में विरोध-प्रदर्शन की तैयारी कर रहे हैं। उल्लेखनीय है कि बेरोजगार शिक्षक भर्ती परीक्षा परीक्षा की सीबीआइ से जांच कराने सहित विभिन्न मांगों को लेकर आंदोलन किया जा रहा है।
मंत्री ने संविदाकर्मियों को नियमित करने की मांग की
पूर्व उपमुख्यमंत्री सचिन पायलट खेमे के वन मंत्री हेमाराम चौधरी ने संविदाकर्मियों को नियमित करने की मांग करते हुए कहा कि यह बात कांग्रेस ने चुनाव घोषणा पत्र में लिखी थी। उन्होंने कहा कि तीन साल हो गए अब हमारी सरकार को अपना वादा पूरा करना चाहिए। राज्य के अलग-अलग विभागों में करीब एक लाख संविदाकर्मी कार्यरत हैं। यह जयपुर के शहीद स्मारक पर धरना दे रहे हैं। भाजपा इस मामले में लम्बे समय से गहलोत सरकार को घेर रही है।