बेटी को परेशान करने वाले को पीटा था, गुस्साए युवक ने गोलियां मार की थी हत्या
शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी (एसजीपीसी) के कर्मचारी गुरमेज सिंह की हत्या का मामला पौने दो वर्ष बाद पुलिस ने ट्रेस किया है। हत्या की वजह कोई और नहीं बल्कि मृतक की बेटे के साथ एक युवक का एकतरफा प्यार था।
जासं, तरनतारन : शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी (एसजीपीसी) के कर्मचारी गुरमेज सिंह की हत्या का मामला पौने दो वर्ष बाद पुलिस ने ट्रेस किया है। हत्या की वजह कोई और नहीं बल्कि मृतक की बेटे के साथ एक युवक का एकतरफा प्यार था।
एसएसपी ध्रुमन एच निंबाले ने बताया कि गांव जमालपुर निवासी गुरमेज सिंह (47) श्री दरबार साहिब तरनतारन में तैनात था। 25 जून, 2019 की रात को गुरमेज सिंह अपने बुलेट मोटरसाइकिल (पीबी 46 जेड 9517) पर गांव जमालपुर से अपनी बहन सुखविंदर कौर निवासी गांव अलावलपुर के घर दूध लेने के लिए जा रहा था। गांव बचड़े के समीप गुरमेज सिंह की गोलियां मारकर अज्ञात लोगों ने हत्या कर दी थी। एसएसपी ध्रुमन एच निंबाले ने बताया कि डीएसपी (आइ) कमलजीत सिंह औलख ने जब जांच की तो सामने आया कि गुरमेज सिंह निवासी गांव जमालपुर की बेटी एक स्कूल में पढ़ती थी। इसी स्कूल का जश्नप्रीत सिंह उर्फ जश्न (निवासी गांव नूरदी) लड़की से एकतरफा प्यार करता था। गुरमेज सिंह को जब मामले का पता चला तो उसने अपने भांजे मनजिंदर सिंह से मिलकर जश्न की दो बार पिटाई की थी। इसका बदला लेने के लिए जश्न ने अपने दोस्त अमृतपाल सिंह निवासी गांव बचड़े व अर्शदीप सिंह अर्श से मिलकर गुरमेज सिंह की हत्या की योजना बनाई थी। अर्शदीप सिंह ने हत्या के लिए .32 बोर का रिवाल्वर जश्न को मुहैया करवाया था। डीएसपी औलख ने पूरे मामले को बेपर्द करते हुए मुख्य आरोपित जश्नप्रीत सिंह जशन व हत्या के लिए रिवाल्वर मुहैया करवाने वाले अर्शदीप सिंह अर्श को गिरफ्तार कर लिया। उनके कब्जे से .32 बोर का रिवाल्वर, पांच कारतूस बरामद किए गए है। दोनों को मंगलवार अदालत में पेश करके दो दिन का रिमांड लिया गया है।
एएसआइ का बेटा है अर्श
एसजीपीसी कर्मचारी गुरमेज सिंह की हत्या के मामले में थाना सिटी में केस दर्ज किया गया था। इसी थाने में तैनात एएसआइ कर्म सिंह के बेटे अर्शदीप सिंह उर्फ अर्श (निवासी क्वार्टर नंबर 175 पुलिस लाइन, तरनतारन) ने अपने दोस्त अमृतपाल सिंह के कहने पर जश्नप्रीत सिंह उर्फ जश्न को रिवाल्वर मुहैया करवाया था। इस रिवाल्वर का एएसआइ कर्म सिंह के साथ तो कोई वास्ता नहीं, यह भी जांच की जा रही है। हत्या करते समय नाबालिग
था आरोपित जश्न
जब गुरमेज सिंह की हत्या की गई तो उस समय मुख्य आरोपित जश्नप्रीत सिंह उर्फ जश्न की आयु 17 वर्ष थी। उसके दो साथी अमृतपाल सिंह व अर्शदीप सिंह उर्फ अर्श 19 से 20 वर्ष के बीच है। एसएसपी ने बताया कि अमृतपाल सिंह निवासी गांव बचड़े की गिरफ्तारी के लिए छापामारी जारी है। उन्होंने बताया कि हत्या के इस मामले को ट्रेस करने के लिए भले ही पौने दो वर्ष का समय लगा। परंतु पुलिस नहीं चाहती थी कि किसी बेगुनाह को परेशान किया जाए।