तरनतारन में पकड़े टिफिन बम और ग्रेनेड से त्योहारों में शहरों को दहलाने की थी साजिश

22 सितंबर की रात को सीमावर्ती गांव भगवानपुरा के पास पकड़े खालिस्तान टाइगर फोर्स (केटीएफ) के तीन आतंकियों से बरामद टिफिन बम और हैंड ग्रेनेड से त्योहारी सीजन में महानगरों को दहलाने की साजिश थी।

By JagranEdited By: Publish:Sun, 26 Sep 2021 06:15 AM (IST) Updated:Sun, 26 Sep 2021 06:15 AM (IST)
तरनतारन में पकड़े टिफिन बम और ग्रेनेड से त्योहारों में शहरों को दहलाने की थी साजिश
तरनतारन में पकड़े टिफिन बम और ग्रेनेड से त्योहारों में शहरों को दहलाने की थी साजिश

धर्मबीर सिंह मल्हार, तरनतारन : 22 सितंबर की रात को सीमावर्ती गांव भगवानपुरा के पास पकड़े खालिस्तान टाइगर फोर्स (केटीएफ) के तीन आतंकियों से बरामद टिफिन बम और हैंड ग्रेनेड से त्योहारी सीजन में महानगरों को दहलाने की साजिश थी। इन आतंकियों ने पाक से मिले संदेश पर दो टिफिन बम, दो हैंड ग्रेनेड, तीन पिस्टल उठाए थे। असलहा और गोला बारूद की इस खेप को तीनों आतंकियों ने आखिर कहां पहुंचाना था और रास्ते में किसके पास पनाह लेनी थी, यह पता लगाने में पुलिस जुटी है। इस संबंधी पुलिस को कुछ सुराग मिले हैं। पुलिस अब यह भी पता लगा रही है कि कनाडा में बैठे केटीएफ के मुखी हरदीप सिंह निज्जर ने तरनतारन जिले से संबंधित कुछ लोगों से बकायदा फोन पर संपर्क भी बनाया था।

जिला मोगा से कुलविदर सिंह उर्फ किदा, कमलप्रीत सिंह उर्फ मान, कंवरपाल सिंह उर्फ कौली को 27 सितंबर को अदालत में पेश करके दोबारा रिमांड पर लिया जाना है। सूत्रों की मानें तो कनाडा बैठे खालिस्तान टाइगर फोर्स (केटीएफ) के मुखी हरदीप सिंह निज्जर ने अपने साथी अर्शदीप सिंह डल्ला की ड्यूटी लगाई थी कि धमाकों के बाद उन आतंकियों के परिवारों तक इनाम के तौर पर मोटी राशि भेजी जाए जिन्होंने ड्रोन से पंजाब आए असलहा को संभालने व धमाके करने में भूमिका निभाई है। यह भी कहा जाता है कि आठ अगस्त को अमृतसर देहाती पुलिस द्वारा गांव डालेके के पास जो टिफिन बम व पांच हैंड ग्रेनेड बरामद किए थे, वह भी ड्रोन से पाक से ही आए थे। पढ़ाई के लिए कनाडा जाने वालों को ढाल बनाने लगे

राज्य में छह सप्ताह में छह टिफिन बम बरामद हो चुके हैं। पंजाब का माहौल बिगाड़ने के लिए पाकिस्तान में बैठे हुए लखवीर सिंह रोडे की अगुआई में उन आतंकी संगठनों ने पूर्व आतंकियों व नशा तस्करों का माड्यूल बनाया है जो विदेश में रहते हुए पंजाब को खालिस्तान बनाने का सपना देखते हैं। ऐसे आतंकियों की उन युवाओं पर भी नजर है, जो पढ़ाई के लिए विदेश जाते हैं। वहां से लौटने वाले युवाओं का पुलिस रिकार्ड साफ होता है। इन युवाओं को ढाल बनाकर आतंकी अपने मंसूबों को अंजाम देने की ताक में है।

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