मद्धम पड़ने लगी उज्ज्वला की आंच, लोग चूल्हा जलाने को हुए मजबूर

केंद्र सरकार की उज्ज्वला योजना की आंच मद्धम पड़ती जा रही है।

By JagranEdited By: Publish:Wed, 03 Mar 2021 09:06 PM (IST) Updated:Wed, 03 Mar 2021 09:06 PM (IST)
मद्धम पड़ने लगी उज्ज्वला की आंच, लोग चूल्हा जलाने को हुए मजबूर
मद्धम पड़ने लगी उज्ज्वला की आंच, लोग चूल्हा जलाने को हुए मजबूर

जागरण संवाददाता, पटियाला : केंद्र सरकार की उज्ज्वला योजना की आंच मद्धम पड़ती जा रही है। सरकार ने गरीब घरों के लोगों को लकड़ी वाले चूल्हे से मुक्ति दिलाने के लिए ये योजना शुरू की थी। लेकिन अब कनेक्शन लेने वालों की रसोई को सिलंडर के बढ़ते दाम प्रभावित कर रहे हैं। लोगों को ज्यादा दाम का गैस सिलेंडर लेना मुश्किल होता जा रहा है। जिसके चलते लोगों ने सिलेंडर की जगह लकड़ी के जलने वाले चूल्हे का इस्तेमाल करना शुरू कर दिया है। अब सिलेंडर की कीमत 850 रुपये हो चुकी है। इस पर सिर्फ नौ रुपये सब्सिडी मिलती है। लोगों का कहना है कि अगर इसी तरह सिलेंडर के दाम बढ़ते रहे तो एक दिन ऐसा आएगा जहां लोग सिलेंडर का प्रयोग करना ही छोड़ देंगे। केंद्र रसोई गैस के दाम पर लगाम लगाए

गांव कपूरी निवासी ममता रानी ने कहा कि अगर केंद्र उज्ज्वला योजना स्कीम का लाभ सही मायने में देना चाहती है तो सबसे पहले रसोई गैस के दाम पर लगाम लगानी होगी, वर्ना इस स्कीम को पब्लिक को कोई फायदा नहीं है। ममता ने कहा कि पहले उज्ज्वला योजना के तहत लोगों को फ्री में गैस कनेक्शन दिए और अब रसोई गैस सिलेंडर का रेट साढ़े आठ सौ रुपये कर दिया है। ऐसे में गरीब व्यक्ति कहां से सिलेंडर भरवाएगा। रसोई गैस सिलेंडर के दाम लगातार बढ़ते जा रहे हैं। जोकि घर के खर्च पर असर डालते हैं। ममता ने कहा कि किसी तरह भरवा लेते हैं लेकिन अब उसका प्रयोग करना काफी कम कर दिया है। अब रसोई का काम लकड़ी वाले चूल्हे पर ही करते हैं। महंगा सिलेंडर भरवाने की गुंजाइश नहीं

गांव कपूरी की दर्शना देवी ने कहा कि पहले उज्ज्वला स्कीम के तहत फ्री में कनेक्शन लिया था। पर अब सिलेंडर के रेट हद से ज्यादा बढ़ चुके है। जिसके चलते लकड़ी व उपले से चूल्हा जलाकर रोटी-सब्जी बनाने व अन्य काम करते है। रसोई गैस सिलेंडर की लगातार सबसिडी कम की जा रही है। अब तो सबसिडी लगभग न के बराबर ही है। ऐसे में सिलेंडर भरवाना मुश्किल होता जा रहा है। इसलिए दोबारा से चूल्हे का इस्तेमाल करना शुरू कर दिया है। उन्होंने कहा कि ऐसी योजना का क्या फायदा, जिससे पब्लिक परेशान हो। केंद्र सरकार के चाहिए कि वह रसोई से जुड़ी हर वस्तु का रेट कम करे। जिससे पब्लिक का फायदा हो।

chat bot
आपका साथी