राजिंदरा में निजी गाड़ियों को एबुलेंस बना शव उठाने के लिए प्रयोग कर रहा ठेकेदार

राजिदरा अस्पताल की मोर्चरी में शव को उठाने के लिए सेहत महकमे द्वारा छह एंबुलेंस लगाई गई हैं।

By JagranEdited By: Publish:Thu, 13 May 2021 11:59 PM (IST) Updated:Thu, 13 May 2021 11:59 PM (IST)
राजिंदरा में निजी गाड़ियों को एबुलेंस बना शव उठाने के लिए प्रयोग कर रहा ठेकेदार
राजिंदरा में निजी गाड़ियों को एबुलेंस बना शव उठाने के लिए प्रयोग कर रहा ठेकेदार

जागरण संवाददाता, पटियाला : राजिदरा अस्पताल की मोर्चरी में शव को उठाने के लिए सेहत महकमे द्वारा छह एंबुलेंस लगाई गई हैं। पर यहां एक एंबुलेंस वाले ठेकेदार ने अपनी प्राइवेट गाड़ियों को एंबुलेंस के तौर पर प्रयोग करना शुरू कर दिया है। इस पर आल एंबुलेंस आपरेटर वेलफेयर एसोसिएशन ने आपत्ति जताई है। एसोसिएशन के सदस्यों ने कहा कि संबंधित व्यक्ति दिल्ली से खरीदी गई गाड़ियों को एंबुलेंस के तौर पर मोर्चरी से शव उठाने के लिए इस्तेमाल कर रहा है। ये नियमों के विपरीत है। यह गाड़ियां परिवहन विभाग में एंबुलेंस के तौर पर पंजीकृत नहीं हैं। वहीं, एंबुलेंस में होने वाला जरूरी सामान भी इन निजी गाड़ियों में मौजूद नहीं है।

उधर, सिविल सर्जन डा. सतिदर सिंह ने कहा कि उन्हें इसकी जानकारी नहीं है। एंबुलेंस की संख्या पहले कम थी, जिसे बढ़ाकर अब छह कर दिया गया है। डा. सतिदर सिंह ने कहा कि वह इस मामले संबंधी मोर्चरी के हेड से बात करके मामले की जानकारी लेंगे। एसोसिएशन के जिला प्रधान कर्मजीत सिंह बिल्ला ने कहा कि दिल्ली की जिन गाड़ियों को एंबुलेंस के तौर पर इस्तेमाल किया जा रहा है, उसमें न तो स्ट्रेचर है व न ही बैठने के लिए सीट है। कर्मजीत ने कहा कि सेहत विभाग को चाहिए कि वह इस मामले पर कार्रवाई करे। उन्होंने कहा कि जिस व्यक्ति की ये एंबुलेंसें हैं वह मोर्चरी में बैठा रहता है। वह मरने वाले के परिवारवालों को शव ले जाने के लिए एंबुलेंस करवाता है और पैसे भी अधिक वसूलता है। इस मौके एबुलेंस आपरेटरों में से गनप्रीत सिंह, गुरप्रीत सिंह, दीप सिंह व हैप्पी मौजूद रहे। मोर्चरी में किसी भी प्राइवेट एंबुलेंस के आने पर पाबंदी है। सरकारी तौर पर एंबुलेंस लगा रखी है जो शव को लेकर जाती है। पाबंदी के निर्देश मोर्चरी में लिखित भी लगा रखे हैं।

डा. डीएस भुल्लर, इंचार्ज, मोर्चरी, राजिदरा अस्पताल

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