मनुष्य को एक नई दिशा प्रदान करता है सत्संग : स्वामी

श्रीमद् भागवत गीता कर्म करने और फल की इच्छा न रखने को प्रेरित करती है। हमें भी ऐसे ग्रंथों का रोजाना अध्ययन कर जिदगी को उन्नति की ओर अग्रसर करना चाहिए।

By JagranEdited By: Publish:Sun, 17 Oct 2021 03:53 PM (IST) Updated:Sun, 17 Oct 2021 03:53 PM (IST)
मनुष्य को एक नई दिशा प्रदान करता है सत्संग : स्वामी
मनुष्य को एक नई दिशा प्रदान करता है सत्संग : स्वामी

संवाद सहयोगी, घरोटा: मनुष्य को सत्संग नई दिशा प्रदान करता है। यह बात गांव पच्चोवाल के श्री लक्ष्मी नारायण पावन धाम में चल रहे मानव एकता अध्यात्मिक समारोह के दौरान स्वामी बुआ दित्ता जी महाराज ने कही। कार्यक्रम की अध्यक्षता संचालक स्वामी रामानंद जी चैतन्य ने की। ज्योति जलाने की रस्म ओंकार नाथ शर्मा ने निभाई। स्वामी बुआ दित्ता महाराज ने सनातन धर्म, भारतीय संस्कृति, से श्रद्धालुओं को अवगत करवाया। उन्होंने कहा कि शुभ संकल्प व पवित्र कार्य करने से मन प्रसन्न व निर्मल होता है। श्रीमद् भागवत गीता कर्म करने और फल की इच्छा न रखने को प्रेरित करती है। हमें भी ऐसे ग्रंथों का रोजाना अध्ययन कर जिदगी को उन्नति की ओर अग्रसर करना चाहिए। मनुष्य यदि कल्याण की इच्छा रखता है तो उसे अपने मन पर नियंत्रण रखना होगा। इस मौके मंगल आरती करके वि‌र्श्व शांति व क्षेत्र के उत्थान की प्रार्थना की गई।

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