सौगात में मिला मेडिकल कॉलेज, अब नहीं जाना पड़ेगा अमृतसर

कैप्टन सरकार द्वारा लोकसभा चुनाव से ठीक पहले पेश किए बजट में जिले को बड़ी सौगात मिली है।

By JagranEdited By: Publish:Tue, 19 Feb 2019 01:00 AM (IST) Updated:Tue, 19 Feb 2019 01:00 AM (IST)
सौगात में मिला मेडिकल कॉलेज, अब नहीं जाना पड़ेगा अमृतसर
सौगात में मिला मेडिकल कॉलेज, अब नहीं जाना पड़ेगा अमृतसर

जासं, पठानकोट : कैप्टन सरकार द्वारा लोकसभा चुनाव से ठीक पहले पेश किए बजट में जिले को बड़ी सौगात मिली है। सरकार ने मेडिकल कॉलेज के जरिए जिले में जान फूंकने का प्रयास किया है। हालांकि मेडिकल कॉलेज खुलने के बाद उसके पूरी तरह से विकसित होने में पांच साल का समय लगेगा परंतु उतना तय है कि मेडिकल कॉलेज खुल गया तो पांच साल बाद इस शहर में हर रोज दस हजार से ज्यादा लोगों का आवागमन होगा। इन लोगों के आने से न केवल शहर का बिजनेस बढ़ेगा बल्कि जम्मू कश्मीर और हिमाचल प्रदेश के गेट वे पर बसे होने के कारण शहर के मेडिकल हब के तौर पर विकसित होने की संभावना भी बढ़ जाएगी। सरकार ने बजट में ऐलान किया है कि पब्लिक प्राइवेट पार्टनर शिप प्रोग्राम के तहत पठानकोट में मेडिकल कालेज खोला जाएगा। विधानसभा चुनाव और उसके बाद लोकसभा के उपचुनाव में मुख्यमंत्री कैप्टन अम¨रदर ¨सह ने घोषणा की थी कि वह पठानकोट को मेडिकल कॉलेज देंगे। मेडिकल कॉलेज अगर डेढ सौ सीटों का खुलता है तो पांच साल के एमबीबीएस कोर्स में साढ़े सात सौ स्टूडेंट्स एमबीबीएस में दाखिल रहेंगे। साढ़े सात सौ स्टूडेंट्स के पीछे मेडिकल कौंसिल ऑफ इंडिया का मापदंडों अनुसार एक ह•ार बेड का अस्पताल भी बनाया जाना होता है। इसके अतिरिक्त डेली की ओपीडी पर अलग से टारगेट फिक्स रहता है। मेडिकल कॉलेज में एमबीबीएस के साथ-साथ पैरा मेडिकल कोर्स भी अलग से चलाए जाते हैं। कालेज चलाने में बड़ी संख्या में डाक्टरों की टीम भी •ारूरी रहती है। अतएव कहा जा सकता है कि मेडिकल कालेज खुला तो खस्ताहाल होटल इंडस्ट्री में भी जान फूंकने का काम हो जाएगा।

ढाकी, सुजानपुर और नलवा में पुलों के लिए भी बजट तय

बजट लोक सभा चुनाव को ध्यान में रख कर तैयार किया गया है। संसदीय हलके से कांग्रेस के पंजाब प्रधान एवं सांसद सुनील जाखड़ एक बार फिर से टिकट के दावेदार हैं। सुजानपुर में जहां फ्लाइओवर की मांग को वह अपना समर्थन दे चुके थे वहीं विधायक विज ढाकी फलाइ ओवर और नलवा प्लाईओवर के लिए पहले से बचन बद्ध थे। बजट में दोनों नेताओं के पास लोगों को बताने के लिए अब बहुत कुछ है। बजट में नलवा में हाई लेवल ब्रिज के लिए भी पंजाब सरकार ने अपने हिस्से का फंड देना सुनिश्चित कर लिया है।

मुक्तेश्वर धाम का मसला लटका

रणजीत सागर डैम की दूसरी यूनिट बैराज प्रोजेक्ट की राह में रोड़ा बने मुक्तेश्वर धाम को सुरक्षित करने की दिशा में बजट में कोई प्रावधान नहीं रखा गया है। पंजाब सरकार को इस धाम को बचाने के लिए अपने कोश से 70 करोड रूपए देने थे परंतु उसका प्रबंध नहीं किया गया है।

सुजानपुर में आरटीआइ की मांग नहीं हुई पूरी

बजट ने जहां पठानकोट के विधायक अमित विज को थोड़ा गुड फील करवाया वहीं जिले के अन्य विधायकों को इसने बहुत कुछ नहीं दिया है। सुजानपुर में आरटीआइ की मांग जहाँ पें¨डग रह गई वहीं भोआ के क्रशर उद्योग को बचाने के लिए दस पुलों के निर्माण का मामला भी लटक कर रह गया।डेयरी इंडस्ट्री की दिशा में भी कैप्टन ने ध्यान नहीं दिया।

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