अब नवजात बच्चों को संभालेंगी आशा वर्कर
सिविल सर्जन डाक्टर हरविद्र सिंह की अध्यक्षता में अनुभवी स्टाफ के जरिए जिला स्तरीय एचबीवाईसी प्रोग्राम अधीन ट्रेनिग शुरू की गई।
जासं, पठानकोट : सिविल सर्जन डाक्टर हरविद्र सिंह की अध्यक्षता में अनुभवी स्टाफ के जरिए जिला स्तरीय एचबीवाईसी (छोटे बच्चों की घरेलू देखभाल) प्रोग्राम अधीन ट्रेनिग शुरू की गई। इससे पहले हरेक आशा वर्कर बच्चे के पैदा होने के बाद 42 दिन तक बच्चे की देखभाल करती थी, लेकिन अब 15 महीने तक आशा वर्कर इस भूमिका को निभाएगी।
ट्रेनिग में नवजन्मे बच्चों में तीन महीने की आयु से लेकर 15 महीने की आयु तक के बच्चों की सेहत संबंधी देखभाल की जानकारी दी गई। जो बच्चों में कुपोषण की कमी को दूर करके बच्चों को सेहतमंद बनाया जा सके। इस ट्रेनिग के जरिए आशा वर्करों द्वारा घर-घर जाकर अपने-अपने एरिया में बच्चों की सेत संबंधी जानकारी ली जाएगी। परिवारिक सदस्यों को सेहत संबंधी, परिवार नियोजन संबंधी, बच्चों की पौष्टिक खुराक के बारे में बच्चों के टीकाकरण बारे और शरीरिक और आसपास की सफाई बारे जानकारी दी जाएगी, ताकि बच्चों को हर तरह की बीमारियों से बचाकर सेहतमंद बनाया जा सके।मौके पर जिला टीकाकरण आफिसर दरबार राज, डा.राजकुमार, एसएमओ डा.राकेश सरपाल, मास मीडिया अफसर विजय ठाकुर, अनुराधा, दीपिका, अमनदीप सिंह, प्रिया महाजन, मनजीत कौर, सीमा देवी मौजूद थी। तीन की रिपोर्ट आई कोरोना
पाजीटिव
जिला में कोरोना का असर कम होता दिखाई दे रहा है। मंगलवार को सेहत विभाग द्वारा जारी रिपोर्ट अनुसार जिला में तीन लोगों की रिपोर्ट कोरोना पाजीटिव पाई गई। राहत भरी बात यह है कि दो लोग सकुशल भी हुए हैं। जिला में बेशक पाजीटिव मरीजों की संख्या में कमी हो रही है लेकिन, बावजूद इसके सेहत विभाग इसे हलके में नहीं ले रहा। चीफ मेडिकल आफिसर डाक्टर हरविद्र सिंह का कहना है कि इस रफ्तार को बढ़ने नहीं देना है। यह तभी संभव है जब लोग सरकार की गाइडलाइन का पालन करेंगे।इसलिए, मूंह पर मास्क, सोशल डिस्टेंसिग और नंबर आने पर हर हाल में वैक्सीन जरुर करवाएं।