550 पौधे लगाने का लक्ष्य बेहतर शुरुआत

नवांशहर के डीएएन कॉलेज ऑफ एजुकेशन में विश्व पर्यावरण दिवस मनाया गया।

By JagranEdited By: Publish:Fri, 07 Jun 2019 11:53 PM (IST) Updated:Fri, 07 Jun 2019 11:53 PM (IST)
550 पौधे लगाने का लक्ष्य बेहतर शुरुआत
550 पौधे लगाने का लक्ष्य बेहतर शुरुआत

जयदेव गोगा, नवांशहर : नवांशहर के डीएएन कॉलेज ऑफ एजुकेशन में विश्व पर्यावरण दिवस मनाया गया। इस मौके पर डिप्टी कमिश्नर विनय बबलानी ने पर्यावरण की संभाल संबंधी पौधे लगाने की मुहिम में विद्यार्थियों की भागीदारी को सुनिश्चित बनाने की सलाह दी। मौके पर मौजूद लोगों ने कहा कि पर्यावरण की सुरक्षा के लिए हर गांव में सरकार ने जो 550 पौधे लगाने का लक्ष्य मुकर्रर किया है, यह एक बहुत ही अच्छी शुरुआत है। श्री गुरु नानक देव जी के 550वें प्रकाश उत्सव के संबंध में जिले के हर गांव में सरकार ने 550 पौधे लगाने का लक्ष्य रखा है। इन पौधों की संभाल के लिए जिले के युवाओं के सकारात्मक सहयोग उम्मीद जताई है।

पौधे लगाने से हो सकती है नुकसान की भरपाई : निर्मल दास

सहाबपुर निवासी रिटायर्ड मुख्य अध्यापक निर्मल दास ने बताया कि पौधरोपण करके हर क्षेत्र के लोगों को अपने प्राकृतिक संसाधनों में बढ़ोतरी करनी चाहिए, तभी पिछले कुछ दशकों से पर्यावरण को जो भारी नुकसान पहुंचाया गया है, उसकी भरपाई हो सकती है। यह पर्यावरण की सुरक्षा की अनदेखी का ही नतीजा है कि प्राणियों की कई प्रजातियां बिलुप्त हो रही है। इन्हें बचाने के लिए पर्यावरण संरक्षण की बेहद जरूरत है। पर्यावरण संरक्षण के सपने को हकीकत में बदलने के लिए हमें ग्रीन इकोनामी यानी हरित अर्थ व्यवस्था को अपनाना होगा। यही एक तरीका है, जिससे हम जरूरी विकास के साथ पर्यावरण को भी सुरक्षित रख सकते हैं।

सरकार से पहले हम कसूरवार : जीत लाल

मास्टर जीत लाल ने कहा कि यह सही है कि सरकारों द्वारा समय-समय पर चलाए गए पौधरोपण अभियान रस्मी ही साबित हुए हैं। पिछले कुछ रिपोर्टों में पौधरोपण के बाद पौधों के संरक्षण की खामियां उजागर हुई हैं, लेकिन सरकार से भी पहले हम कसूरवार हैं। वृक्षों की जो खुशहाली हमारे बुजुर्गो ने हमें अमानत के तौर पर अगली पीढ़ी तक पहुंचाने के लिए दी थी, हमने उन पर निर्मम होकर कुल्हाड़ी से वार किया और उन्हें काटकर अपने स्वार्थोँ की पूर्ति की। अब हमें नए पेड़ लगा कर लोगों में इसके प्रति संरक्षण की जागरूकता भी बढ़ानी होगी।

तेज गति से पौधरोपण करना होगा : अशोक कुमार

सेहत व शारीरिक शिक्षा के सेवा निवृत्त अध्यापक अशोक कुमार का मानना है कि जिले के अंदर बिगड़ते हुए पर्यावरण को नजरअंदाज नहीं किया जा सकता। तेज गति से पौधरोपण का काम सिरे चढ़ाना होगा। यह हमारी ही नहीं पूरे देश की समस्या है। दुनिया के 15 सबसे प्रदूषित शहरों में दस भारतीय शहर हैं। पहाड़ी और दुर्गम क्षेत्रों को अगर छोड़ दें तो शायद ही कोई भारतीय शहर हो जो वायु शुद्धता के पैमाने पर खरा उतरता हो। हमने प्रकृति प्रदत्त साधनों का स्वरूप बिगाड़ दिया है। जीवन देने वाली आक्सीजन को जहरीला बना दिया है। अपनी आबो हवा को उसका कुदरती रूप देने के लिए सभी को आगे आना होगा। सहभागिता के साथ ही पर्यावरण का संरक्षण किया जा सकता है।

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