आयुष्मान भारत के तहत 233 लोगों ने करवाया कैशलेस इलाज

आयुष्मान भारत सरबत सेहत योजना के तहत जिले में अब तक 55162 परिवारों को ई-कार्ड जारी किए गए हैं।

By JagranEdited By: Publish:Tue, 17 Sep 2019 11:05 PM (IST) Updated:Wed, 18 Sep 2019 06:26 AM (IST)
आयुष्मान भारत के तहत 233 लोगों ने करवाया कैशलेस इलाज
आयुष्मान भारत के तहत 233 लोगों ने करवाया कैशलेस इलाज

जासं, नवांशहर : आयुष्मान भारत सरबत सेहत योजना के तहत जिले में अब तक 55162 परिवारों को ई-कार्ड जारी किए गए हैं। लोगों ने इसका अब लाभ उठाना भी शुरू कर दिया है। अब तक 223 लोगों ने इस योजना के तहत कैशलेस इलाज करवाया है। 10 लाख 16 हजार रुपये का क्लेम बीमा कंपनी को भेजा जा चुका है। जबकि 7.87 लाख रुपयेका क्लेम अभी भेजा जाना है। उल्लेखनीय है कि इस योजना के तहत 1.04 लाख परिवारों को इस योजना के तहत कार्ड जारी किया जाना है।

डीसी विनय बबलानी ने कहा कि लोगों को बेहतर स्वास्थ्य सुविधा देने की सरकार की इस योजना का लाभ लोगों ने उठाना शुरु कर दिया है। लोगों को सुविधा प्रदान करने के लिए संबंधित विभागों के अधिकारियों को निर्देश जारी किये जा चुके हैं। डीसी ने बताया कि कॉमन सर्विस सेंटर (सीएससी) और अस्पतालों में पात्र परिवारों को ई-कार्ड जारी करने का काम तेजी से चल रहा है। इस काम की देखरेख स्टेट सेहत एजेंसी कर रही है। इस योजना के तहत परिवार के सभी सदस्यों की संख्या, उम्र या परिवार के सदस्यों को बिना भेदभाव स्वास्थ्य सेवाएं प्रदान करने के लिए योजना में शामिल किया गया है। योजना का मुख्य उद्देश्य लोगों को मुफ्त स्वास्थ्य सेवा प्रदान करना है ताकि राज्य के लोगों पर आर्थिक बोझ को कम किया जा सके। उन्होंने कहा कि इस कल्याणकारी योजना में स्मार्ट राशन कार्ड धारक, छोटे व्यापारी, जे फार्म धारक छोटे और सीमांत किसान और प्रमाणित और पीले कार्ड धारक पत्रकार शामिल हैं। सिविल सर्जन डॉ. आरपी भाटिया ने कहा कि बीमा योजनाXह्नह्वश्रह्ल; के तहत राज्य भर में 20 अगस्त, 2019 को मुफ्त चिकित्सा सेवा शुरू की गई थी। 13 सितंबर तक इस योजना के तहत भर्ती किए गए 225 मरीजों में से 174 मरीजों को 10,16,700 रुपये और 7,87,500 रुपये का दावा बीमा कंपनी को भेजा गया है। स्वास्थ्य बीमा योजना को लागू करने के उद्देश्य से, राज्य स्वास्थ्य एजेंसी ने सूचीबद्ध निजी और सरकारी अस्पतालों को विशेष प्रशिक्षण प्रदान किया है ताकि मरीजों को बिना किसी कठिनाई के अस्पतालों में स्वास्थ्य सेवाएं मिल सकें।

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