गुरु ही अपने शिष्य को संपूर्ण बनाते हैं : चावला

गुरु पूर्णिमा पर स्थानीय डेरा संत बाबा बग्गू भगत सांझा दरबार संत मंदिर में समागम आयोजित किया गया।

By JagranEdited By: Publish:Sat, 24 Jul 2021 03:56 PM (IST) Updated:Sat, 24 Jul 2021 03:56 PM (IST)
गुरु ही अपने शिष्य को संपूर्ण बनाते हैं : चावला
गुरु ही अपने शिष्य को संपूर्ण बनाते हैं : चावला

संवाद सूत्र, श्री मुक्तसर साहिब

गुरु पूर्णिमा पर स्थानीय डेरा संत बाबा बग्गू भगत, सांझा दरबार संत मंदिर में समागम आयोजित किया गया। उल्लेखनीय है कि गुरु पूर्णिमा दिवस गुरुओं की पूजा का दिन होता है। इस दिन आदर सहित शिष्य अपने गुरुओं का आशीर्वाद लेते हैं और उनको उपहार आदि भेंट करते हैं। जिनके गुरु नहीं होते वह इस दिन गुरु बना सकते हैं। प्राचीन संस्कृति के अनुसार गुरु को भगवान से भी बड़ा स्थान दिया गया है। गुरु ही जीवन का सही मार्ग दिखाता है। डेरा सेवा संभाल कमेटी के प्रधान और डेरा गद्दी नशीन परम पूजनीय भगत शम्मी चावला की देख रेख में हुए गुरु पूजन समागम समय बड़ी संख्या में श्रद्धालुओं ने भाग लिया।

समागम की शुरूआत भगत द्वारा अरदास करके की गई। उपरांत उन्होंने डेरा संस्थापक ब्रह्मलीन संत बाबा बग्गू भगत जी की पवित्र मूर्ति की चरन वंदना करके गुरु पूजा की। इस पश्चात माता का सुंदर रूप धारण किए छोटी बच्ची का कन्या पूजन किया गया। समागम दौरान भगत के पुत्र गगनदीप चावला, डेरा कमेटी के चीफ आर्गेनाइजर जगदीश राय ढोसीवाल, सभी कमेटी सदस्य और सभी श्रद्धालुओं ने भगत को हार पहनाए, चरन वंदना करके पूजा की और उनसे आशीर्वाद लिया।

समागम के दौरान अपने से प्रवचनों की अमृत वर्षा करते हुए कहा कि गुरु हमें अज्ञानता के अंधेरे से ज्ञान रूपी प्रकाश की तरफ ले कर जाता है। शास्त्रों में गुरु का रूप बहुत ऊंचा माना गया है। गुरु की कृपा बिना प्रभु की प्राप्ति असंभव है। उन्होंने आगे फरमाया कि गुरु हमें शिक्षा देता है, अनुशासन का पाठ पढ़ाता है और सभ्य समाज की सृजन करने में गुरु का बहुत बड़ा योगदान होता है। उन्होंने कहा कि गुरु अपूर्ण को संपूर्ण बना देता है और उसकी पूजा करना हम सभी का धर्म है। हर शिष्य अपनी नजर में संपूर्ण नहीं होता और वह अपने गुरु को ही पूर्ण परिपक्व मानता है, पर गुरु की संपूर्णता भी यही होती है कि वह अपने शिष्य को संपूर्ण और परिपक्व बना दे।

ढोसीवाल ने बताया है कि आज के समागम के दौरान डेरे को शानदार ढंग से सजाया गया था। समागम के अंत में भगत ने इलाके की सुख, शांति और सभी के भले के लिए अरदास की। अरदास दौरान भगत ने संगत को कोरोना हिदायतों की पालना करने और कोरोना विरोधी टीकाकरण करवाने की अपील भी की। सत्संग की समाप्ति उपरांत लंगर वितरित किया गया।

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