मानसा में किसानों को अब तक 399.39 करोड़ का भुगतान

सरकारी खरीद एजेंसियों द्वारा खरीदे गए गेहूं के लिए किसानों को अब तक 399.39 करोड़ रुपये का भुगतान किया गया है।

By JagranEdited By: Publish:Thu, 22 Apr 2021 09:53 PM (IST) Updated:Thu, 22 Apr 2021 09:53 PM (IST)
मानसा में किसानों को अब तक 399.39 करोड़ का भुगतान
मानसा में किसानों को अब तक 399.39 करोड़ का भुगतान

संसू, मानसा: डीसी मोहिदर पाल ने कहा कि जिले में सरकारी खरीद एजेंसियों द्वारा खरीदे गए गेहूं के लिए किसानों को अब तक 399.39 करोड़ रुपये का भुगतान किया गया है। मंडियों में गेहूं की आवक में वृद्धि के साथ, खरीद प्रक्रिया और मंडियों से गेहूं उठाने में भी तेजी आई है।

एजेंसियों द्वारा किए गए भुगतान का विवरण साझा करते हुए डीसी ने कहा कि पनग्रेन ने अब तक 186.63 करोड़ रुपये, मार्कफेड ने 101 करोड़ रुपये, पनसप ने 65 करोड़ रुपये और वेयरहाउस ने 46.76 करोड़ रुपये सीधे संबंधितों के बैंक खातों में भुगतान किए हैं। कल तक अनाज मंडियों में गेहूं की खरीद और लिफ्टिंग की जानकारी देते हुए डीसी ने कहा कि 3 लाख 81 हजार 755 मीट्रिक टन गेहूं की आमद मंडियों में हुई जिसमें से 3 लाख 34 हजार 326 मीट्रिक टन गेहूं की खरीद की गई। मंडियों से एक लाख 87 हजार 330 मीट्रिक टन गेहूं की लिफ्टिग हो चुकी है। बाकी की लिफ्टिग की प्रक्रिया जोरों पर है। केंद्र के इशारे पर चल रही कैप्टन सरकार: आप

जागरण संवाददाता, बठिडा: आम आदमी पार्टी (आप) के किसान विग के जिला प्रधान जितेंद्र सिंह के नेतृत्व में जिले की अनाज मंडियों का दौरा किया गया। इस दौरान जिला शहरी प्रधान नवदीप सिंह जीदा, देहाती प्रधान गुरजंट सिंह सिविया, महासचिव राकेश पुरी, प्रदेश उपप्रधान एससी विग मास्टर जगजीत सिंह भी मौजूद थे।

आप नेताओं ने भगता भाई का कोठा गुरु, भाई रूपा, मेहराज, नथाना, भुच्चो मंडी, बालियांवाली, मौड, डिख आदि गांवों की मंडियों का दौरा कर किसानों को आ रही समस्याओं का जायजा लिया। इस दौरान राज्य सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी भी की गई। जिला प्रधान नवदीप सिंह जीदा तथा गुरजंट सिंह सिविया ने कहा कि पंजाब सरकार के गेहूं के खरीद प्रबंध बेहद ढीले हैं। बारदाने की कमी के कारण किसान 10-10 व 12-12 दिनों से बैठे हैं। बारिश के कारण फसल मंडियों में खराब हो रही है तथा कैप्टन सरकार कुंभकरण की नींद हुई पड़ी है। आने वाले दिनों में हालात बद से बदतर होने वाले हैं। कैप्टन सरकार की तरफ से जानबूझकर बारदाना नहीं दिया जा रहा, क्योंकि मुख्यमंत्री चाहते हैं की किसान कारपोरेट घरानों को गेहूं बेचने के लिए मजबूर हों। इससे पता चलता है कि कैप्टन सरकार भी केंद्र सरकार के हुक्म के अनुसार ही चल रही है। उन्होंने बताया कि यह सारा मामला प्रदेश अध्यक्ष भगवंत सिंह मान के ध्यान में लाया गया है। अगर सरकार ने तुरंत बारदाने के तथा खरीद प्रबंध सही ना किए तो राज्य स्तरीय प्रदर्शन किया जाएगा।

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