शनिदेव कर्मों का फल देने वाले न्यायधीश है: शून्य प्रभु
सतलुज किनारे स्थित शनिगांव में शून्य प्रभु के सानिध्य में हवन यज्ञ व प्रवचन सभा का आयोजन किया गया। सर्वप्रथम शनि भक्तों ने हवन यज्ञ में आहुतियां डालीं व सभी के लिए सुख-शांति की मंगलकामना की।
संस, लुधियाना : सतलुज किनारे स्थित शनिगांव में शून्य प्रभु के सानिध्य में हवन यज्ञ व प्रवचन सभा का आयोजन किया गया। सर्वप्रथम शनि भक्तों ने हवन यज्ञ में आहुतियां डालीं व सभी के लिए सुख-शांति की मंगलकामना की।
इस अवसर पर आयोजित सभा में शून्य प्रभु ने कहा कि शनिदेव कर्मो का फल देने वाले न्यायधीश है, जो हमें अपने अच्छे व बुरे कर्मों का पाठ देते है। हमें हमेशा उनसे अच्छे कर्म करने की शक्ति मांगनी चाहिए। उन्होंने आगे शनि अमावस्या के महत्व पर प्रकाश डालते हुए कहा कि आगामी चार दिसंबर दिन शनिवार को शनि अमावस्या है। जब कभी भी अमावस्या शनि के दिन पड़ जाए तो उसे शनिचरी अमावस्या कहा जाता है। तथा यह दिन शनिदेव की पूजा और शांति करने के लिए विशेष महत्वपूर्ण होता है। इस समय धनु मकर कुंभ राशियों पर साढे़साती तथा तुला और मिथुन राशि पर शनि की ढैय्या चल रही है। इन राशियों के लिए यह दिन विशेष महत्वपूर्ण है। चार दिसंबर को मनाई जा रही शनि अमावस्या पर विशेष हवन यज्ञ का आयोजन सायं 5:30 बजे होगा। इसमें कोई भी भक्त बैठ सकता है तथा सामग्री भी भक्तों निशुल्क मिलेगी। समारोह को लेकर तैयारियां शुरु कर दी गई है। अंत में शनि की आरती कर सभा को विश्राम दिया गया।