बठिंडा में BDA का क्लर्क 3000 रुपये रिश्वत लेते गिरफ्तार, चेंज ऑफ ओनरशिप की एनओसी देने को मांगे थे पैसे

बठिंडा डेवलपमेंट अथारिटी (बीडीए) के क्लर्क जगमीत सिंह को विजिलेंस ब्यूरो बठिंडा की टीम ने रिश्वत लेते गिरफ्तार किया है। जगमीत पर भ्रष्टाचार एक्ट के तहत मामला दर्ज कर अगली कार्रवाई शुरू कर दी है। उससे 33800 रुपये भी बरामद हुए हैं।

By Pankaj DwivediEdited By: Publish:Fri, 07 May 2021 05:18 PM (IST) Updated:Fri, 07 May 2021 05:18 PM (IST)
बठिंडा में BDA का क्लर्क 3000 रुपये रिश्वत लेते गिरफ्तार, चेंज ऑफ ओनरशिप की एनओसी देने को मांगे थे पैसे
क्लर्क जगमीत सिंह को विजिलेंस ब्यूरो बठिंडा की टीम ने रिश्वत लेते रंगे हाथ गिरफ्तार किया है। सांकेतिक फोटो

बठिंडा, जेएनएन। चेंज ऑफ ओनरशिप (मालिकी तब्दीली) देने की एवज में तीन हजार रुपये की रिश्वत लेते  बठिंडा डेवलपमेंट अथारिटी (बीडीए) के क्लर्क जगमीत सिंह को पंजाब विजिलेंस ब्यूरो बठिंडा की टीम ने रंगे हाथ गिरफ्तार किया है। जगमीत पर भ्रष्टाचार एक्ट के तहत मामला दर्ज कर अगली कार्रवाई शुरू कर दी है। विजिलेंस टीम ने आरोपित की तलाशी में 33 हजार 800 रुपये की नकदी भी बरामद की है।

विजिलेंस ब्यूरो (बठिंडा) के एसएसपी नरिंदर भार्गव ने बताया कि माडल टाउन फेस वन के संजीव कुमार ने शिकायत दी थी कि उन्होंने साल 2001 में हाउसिंग बोर्ड कालोनी फेस वन में एलआईजी क्वार्टर नंबर 92 खरीदा था। घरेलू काम के लिए उन्होंने स्टेट बैंक आफ इंडिया की जिला परिषद ब्रांच वाली से लाेन लेने के लिए अप्लाई किया था। बैंक के लीगल एडवाइजर ने चेज आफ ओनरशिप (मालिकी तब्दीली) के सर्टिफिकेट की मांग की।

5000 रुपये के बदले एनओसी  

उन्होंने 26 मार्च, 2021 को यह सर्टिफिकेट लेने के लिए बीडीए दफ्तर बठिंडा में अप्लाई किया। एप्लीकेशन देने के  12 दिन बाद कर्लक जगमीत सिंह ने उन्हें फोन कर जानकारी दी कि उनकी एप्लीकेशन के दस्तावेज अधूरे हैं, इसलिए उसे असल रजिस्ट्री लेकर दफ्तर आना होगा। शिकायतकर्ता अनुसार वह असल रजिस्ट्री लेकर क्लर्क जगमीत सिंह के पास गए। उसने कहा कि उसके कागजात अब भी अधूरे हैं, इसलिए उसका काम नहीं हो सकता है। अगर वह उसे 5000 रुपये बतौर रिश्वत दे तो वह उसकी एनओसी संबंधित अधिकारियों से तैयार करवाकर दे सकता है।

पहले 1500 रुपये लिए, 3500 लेते धरा गया

एसएसपी भार्गव ने बताया कि पीड़ित ने आरोपित को उसे एनओसी देने की मांग की लेकिन उसने पांच हजार रुपये देने के बाद ही देने की बात कहीं। इसके बाद शिकायतकर्ता ने आरोपित क्लर्क को 1500 रुपये बतौर रिश्वत दे दी, लेकिन उसने बाकी के 3500 रुपये मिलने के बाद ही एनओसी देने की बात कहीं। इसके बाद शिकायतकर्ता संजीव कुमार ने क्लर्क को तीन हजार रुपये ओर रिश्वत देने के लिए राजी कर लिया। शुक्रवार को डीएसपी कुलदीप सिंह की टीम ने सरकारी गवाह गुरजिंदर सिंह व इंदरजीत सिंह बागवानी विकास अफसर बठिंडा की अगुआई में जगमीत सिंह को 3 हजार रुपये की रिश्वत लेते हुए गिरफ्तार कर लिया।

chat bot
आपका साथी