जालंधर में जल सप्लाई और सैनिटाइजेशन वर्कर्स का डीसी दफ्तर के बाहर प्रदर्शन, स्थायी करने वाली सूची में नाम शामिल करने की मांग

प्रदर्शन कर रहे वर्करों का कहना है कि पंजाब सरकार ने 36000 वर्करों को स्थायी करने का काम शुरू किया है। इसके तहत सभी विभागों के कच्चे वर्करों के नाम मांगे गए हैं लेकिन जल सप्लाई विभाग से अभी तक लिस्ट नहीं भेजी गई है।

By Pankaj DwivediEdited By: Publish:Tue, 16 Nov 2021 01:59 PM (IST) Updated:Tue, 16 Nov 2021 02:00 PM (IST)
जालंधर में जल सप्लाई और सैनिटाइजेशन वर्कर्स का डीसी दफ्तर के बाहर प्रदर्शन, स्थायी करने वाली सूची में नाम शामिल करने की मांग
जल सप्लाई और सैनिटाइजेशन वर्कर तालमेल संघर्ष कमेटी ने डीसी दफ्तर के बाहर रोष प्रदर्शन किया।

संवाद सहयोगी, जालंधर। शहर में मंगलवार को जल सप्लाई और सैनिटाइजेशन वर्कर तालमेल संघर्ष कमेटी ने डीसी दफ्तर के बाहर रोष प्रदर्शन किया। मांगे पूरी ना होने पर वर्कर लगातार प्रदर्शन कर रहे हैं। दूसरे दिन भी उन्होंने सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी की। उन्होंने सीएम चरणजीत सिंह चन्नी मुर्दाबाद के नारे भी लगाए।

कन्वीनर प्रताप सिंह और रवींद्र सिंह का कहना है कि जल सप्लाई विभाग में पिछले 3 साल, 5 साल और 10 साल से झूठी पॉलिसी के तहत पूरे पंजाब में लगभग चार हजार के करीब वर्कर काम कर रहे हैं। अब राज्य सरकार ने 36000 वर्करों को स्थायी करने का काम शुरू किया गया है। इसके तहत सभी विभागों के कच्चे वर्करों के नाम मांगे गए हैं लेकिन जल सप्लाई विभाग से अभी तक लिस्ट नहीं भेजी गई है। इसी की मांग करते हुए जल सप्लाई विभाग के वर्कर्स ने संघर्ष शुरू किया है। उनका कहना है कि हमारा नाम किसी भी कर्मचारी लिस्ट में नहीं गिना जा रहा। सरकार उनके साथ नाइंसाफी कर रही है। इस दौरान डीसी दफ्तर के बाहर भारी जाम लग गया।

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