जालंधर में जाली जमानत करवाने के मामले में बड़ा खुलासा, सरकारी कर्मी बनाते थे फर्जी दस्तावेज व मुहरें

जालंधर में फर्जी दस्तावेज लगाकर अपराधियों की जमानत करवाने के पीछे पूरा गैंग काम करता था। पिछले दिनों गिरफ्तार तीन आरोपितों से पूछताछ में सामने आया है कि उन्हें जाली दस्तावेज व मुहरें सरकारी दफ्तरों में काम करने वाले ही देते थे।

By Pankaj DwivediEdited By: Publish:Mon, 18 Jan 2021 02:45 PM (IST) Updated:Mon, 18 Jan 2021 02:45 PM (IST)
जालंधर में जाली जमानत करवाने के मामले में बड़ा खुलासा, सरकारी कर्मी बनाते थे फर्जी दस्तावेज व मुहरें
जालंधर में जाली दस्तावेज लगाकर अपराधियों की जमानत करवाने के मामले में तीन लोगों को गिरफ्तार किया गया है।

जालंधर, जेएनएन। Jalandhar Fake document bail case फर्जी दस्तावेज के जरिए जाली जमानतें भरने वाले गिरोह के सदस्यों को फर्जी मुहर और दस्तावेज बनाकर देने वालों में कुछ सरकारी लोग भी शामिल हैं। इस मामले में गिरफ्तार तीन आरोपितों से पुलिस की पूछताछ में यह खुलासा हुआ है। आरोपितों को फर्जी दस्तावेज और मुहरें आदि बनाकर देने वालों में कई ऐसे लोग हैं जो या तो खुद सरकारी दफ्तरों में लगे हुए हैं या फिर सरकारी अफसरों के रिश्तेदार हैं। उन्हीं के जरिए आरोपित फर्जी दस्तावेज तैयार करके जमानतें भरते थे।

यह भी खुलासा हुआ है कि इस काम के पीछे बड़ा गिरोह है। गिरोह के सदस्य जमानत के बदले में मिलने वाली राशि केस के हिसाब से तय करते थे। हत्या या हत्या के प्रयास के मामले में ज्यादा पैसे लिए जाते थे। बाकी केसों के भी अलग-अलग रेट तय थे।

गैंग के अन्य सदस्यों की तलाश में जुटी पुलिस

पुलिस अब आरोपितों से उन लोगों का पता लगाने में जुटी है, जो उन्हें दस्तावेज या मुहरें बनाकर देते थे। वहीं उनकी भी तलाश की जा रही है जो इस गिहोर में शामिल होकर जमानतें भरने के लिए आते थे। उन लोगों पर भी कार्रवाई होगी जिन्होंने आरोपितों से जमानतें करवाई हैं।

यह था मामला

रविवार को थाना बारादरी की पुलिस ने जाली जमानतें भरने वाले गिरोह के तीन सदस्यों को गिरफ्तार किया था। आरोपितों की पहचान आबादी रसूलपुर कलर, जोड़ा फाटक, अमृतसर निवासी राजपाल सिंह, कमलजीत सिंह और गांव नंगल सलेमपुर निवासी कुलदीप सिंह के रूप में हुई थी। तीनों आरोपितों के पास से पुलिस ने एक जाली शिनाख्ती कार्ड नंबरदारी, जिस पर तहसीलदार जालंधर एक की मोहर लगी हुई थी, दो जाली आधार कार्ड, जिस पर राजपाल सिंह और कमलजीत सिंह की फोटो लगी हुई थी और एक जाली नंबरदार मोहर बरामद की थी।

थाना बारादरी के प्रभारी कमलजीत सिंह ने बताया कि उनके पास गुप्त सूचना आई थी कि कचहरी चौक पर तीन व्यक्ति खड़े हैं जो फर्जी दस्तावेजों के जरिए जाली जमानतें भरते हैं। बड़े बड़े मामलों में बंद आरोपितों की जमानतें भर कर उन्हें बाहर लाने में मदद करते हैं, जिसके बाद आरोपित फरार हो जाते हैं। सूचना के आधार पर छापेमारी कर उनको गिरफ्तार कर लिया गया।

chat bot
आपका साथी