अमृतसर में राहगीरों की सर्तकता से बड़ा हादसा टला, गेटमैन सोता रहा; खुले जोड़ा फाटक पर आ पहुंची ट्रेन
एक सितंबर को भी जोड़ा फाटक पर तीन ट्रेनें खुले फाटक से गुजर गई थी। तब भी गेटमैन ने अपनी गलती मानने की बजाए वहां पहुंचे मीडिया कर्मियों से ही बदतमीजी शुरू कर दी थी। इसकी शिकायत की गई थी और गेटमैन को फिरोजपुर डिवीजन तलब भी किया गया था।
जागरण संवाददाता, अमृतसर। शहर में राहगीरों की सर्तकता से बड़ा हादसा टल गया। जोड़ा फाटक पर हुए रेल हादसे से अभी भी रेलवे ने काेई सबक नहीं सीखा। रविवार सुबह 5.30 बजे एक बार फिर से खुले फाटक पर ट्रेन आ पहुंची और गेटमैन सोता ही रह गया। लोगों ने गेटमेन को उठाया तो आनन-फानन में उसने फाटक बंद किया और ट्रेन को रवाना किया।
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रविवार काे जालंधर से आई थी ट्रेन
रविवार सुबह जालंधर से आ रही ट्रेन जोड़ा फाटक पर पहुंच गई, पर गेटमैन ने फाटक बंद नहीं किया। लोगों ने जब गेटमैन के कमरे में देखा तो वह सो रहा था। उसे उठाया तो उसने आनन-फानन में फाटक बंद किया। जब लोगों ने उसे फटकार लगाई तो वह बहाने बनाने लगा। कभी बोला ट्रेन नहीं आनी थी तो कभी बोला फाटक खराब है। लाेगाें ने रेलवे से मांग की है कि रेलवे फाटकाें पर सुरक्षा के अतिरिक्त इंतजाम किए जाएं।
गेटमैन सो रहा था तो वीडियो दें, फिर कार्रवाई होगी: डीआरएम
इस घटना संबंधी जब डीआरएम सीमा शर्मा से बात की तो उन्होंने कहा कि मामला उनके ध्यान में आया है। उन्होंने जांच करवाई, जिसमें यह बात सामने आई है कि ट्रेन जब गुजरी तो फाटक बंद था। उसमें गेटमैन की कोई गलती नहीं है। जब उन्हें गेटमैन के सोने की बात कही तो उन्होंने कहा कि अगर गेटमैन के सोने का कोई वीडियो है तो वह उन्हें दें, उस पर कार्रवाई की जाएगी।
2018 में दशहरे वाले दिन 59 लोगों की गई थी जान
बता दे कि एक सितंबर को भी जोड़ा फाटक पर तीन ट्रेनें खुले फाटक से गुजर गई थी। तब भी गेटमैन ने अपनी गलती मानने की बजाए वहां पहुंचे मीडिया कर्मियों से ही बदतमीजी शुरू कर दी थी। इसकी शिकायत की गई थी और गेटमैन को फिरोजपुर डिवीजन तलब भी किया गया था, पर कोई कार्रवाई नहीं हुई। यह वही जोड़ा फाटक जहां पर 2018 में दशहरे वाले दिन 59 लोगों की जान चली गई थी और 100 से ज्यादा लोग जख्मी हुए थे।