फल-सब्जियों से नहीं, संक्रमित व्यक्तियों के संपर्क से कोरोना का खतरा
कोरोना वायरस लोगों में फैलने वाली बीमारी है। वायरस वनस्पतियों को प्रभावित नहीं करता।
जागरण संवाददाता, जालंधर : कोरोना वायरस लोगों में फैलने वाली बीमारी है। ये वायरस वनस्पतियों को प्रभावित नहीं करता। फल व सब्जियां कोरोना वायरस के विकास में असहाय है, लेकिन संक्रमित व्यक्ति के संपर्क में आए कच्चे फल, सब्जियां, भोजन और अन्य खाद्य पदार्थ संक्रमण को बढ़ावा दे सकते हैं। इसके अलावा फूड सेफ्टी एंड स्टैंडर्ड अथॉरिटी ऑफ इंडिया (एफएसएसएआइ) तथा डब्लयूएचओ को मांसाहारी खाद्य पदार्थों से कोरोना फैलने के कोई सुबूत नही मिले हैं।
जिला सेहत अधिकारी डॉ. एसएस नांगल का कहना है कि खाद्य पदार्थों को तैयार करने और बिक्री के लिए स्वच्छता की नीतियों की पालना से कोरोना का खतरा खत्म किया जा सकता है। कोरोना के दौर में कच्चे खाद्य पदार्थों से लेकर भोजन तैयार करने तक की प्रक्रिया में काफी चुनौतियां खड़ी हो गई हैं। हालांकि इस समय बनी स्वच्छता की आदत स्वस्थ समाज का निर्माण करेगी। इस विषय को लेकर विभाग की ओर से फूड बिजनेस ऑपरेटरों को फ्री ऑनलाइन ट्रेनिंग भी दी जा रही है। इसमें शरीरिक दूरी और मास्क पहनने को खास अहमियत दी गई है।
जिला एपीडिमोलॉजिस्ट डॉ. सतीश कुमार का कहना है कि स्टडी के मुताबिक खाना पकाने से वायरस को खत्म किया जा सकता है। भोजन को सुरक्षित करने के लिए 60 डिग्री सेल्सियस तापमान पर भोजन को 30 मिनट तक पकाया जा सकता है। इसकी अधिकतम सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए प्रेशर कुकर का इस्तेमाल करना चाहिए। कच्चे दूध की अधिकतम सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए 60 डिग्री सेल्सियस पर 30 मिनट या 75 डिग्री सेल्सियस पर 10 मिनट तक गर्म करना चाहिए। पैकेट फाड़ने से पहले बहते पानी में दूध के पैकेट को धो लेना चाहिए। खाना तैयार होने के दो घंटे के भीतर खा लिया जाए तो सबसे अच्छा होगा।
यह सावधानियां बरतें
- क्षतिग्रस्त फलों और सब्जियों का चयन नहीं करें।
- फल-सब्जियों को कच्चे मांस, पोल्ट्री और मछली से अलग रखें।
- दुकान से लौटने तथा खाद्य पदार्थ की पैकेजिग हटाने के बाद हाथ जरूर धोएं।
- फलों, सब्जियों व अन्य खाद्य पदार्थों को थोड़ी देर रखें और पानी से अच्छी तरह साफ करे।
- खाने या खाना बनाने से पहले अपने हाथों को अच्छी तरह धोएं।
- चॉपिग बोर्ड, बर्तन और गैस स्टोव को साबुन और गर्म पानी से धोया जाना चाहिए।