Surface Water Project Jalandhar: इस्तेमाल के लिए सभी टंकियों की होगी टेस्टिंग होगी, खस्ताहाल गिराई जाएंगी

सरफेस वाटर प्रोजेक्ट के तहत शहर को 37 जोन में बांटा जाना है। इसमें सभी इलाकों में वाटर टैंक की जरूरत होगी। जिस इलाके में वाटर टैंक नहीं होगा वहां पर सरफेस वाटर प्रोजेक्ट के तहत नई टंकी बनाई जाएगी।

By Pankaj DwivediEdited By: Publish:Mon, 26 Oct 2020 11:55 AM (IST) Updated:Mon, 26 Oct 2020 11:55 AM (IST)
Surface Water Project Jalandhar: इस्तेमाल के लिए सभी टंकियों की होगी टेस्टिंग होगी, खस्ताहाल गिराई जाएंगी
जालंधर में करीब 15 पानी की टंकियों को सफाई और मरम्मत की जरूरत है। (जागरण)

जालंधर, जेएनएन। सरफेस वाटर प्रोजेक्ट के तहत शहर में पानी की सप्लाई देने के लिए पुरानी पानी की टंकियों को इस्तेमाल करने के लिए उनकी हालत की टेस्टिंग करवाई जाएगी। जो टंकियां सही हालत में होंगी वही सरफेस वाटर प्रोजेक्ट के साथ जाेड़ी जाएंगी। शहर में इस समय नगर निगम की करीब 28 पानी की टंकियां हैं। इनमें से 5 से 6 टंकियां बेहद खराब हालत में है और उन्हें गिराया जाना है। बाकी सभी टंकियों की टेस्टिंग होगी ताकि पर उनकी हालत का पता लग सके।

सरफेस वाटर प्रोजेक्ट के तहत शहर को 37 जोन में बांटा जाना है। इसमें सभी इलाकों में वाटर टैंक की जरूरत होगी। मौजूदा वाटर टैंक भी इस्तेमाल होंगे और इनके मुताबिक ही जोन व एरिया तय होगा। जिस इलाके में वाटर टैंक नहीं होगा वहां पर सरफेस वाटर प्रोजेक्ट के तहत नई टंकी बनाई जाएगी। इसमें सबसे पहली कोशिश यही रहेगी कि सभी टैंक अंडरग्राउंड बनाए जाएं।

सिर्फ चार से पांच टंकियां ठीक हालत में

नगर निगम के सुपरिंटेंडेंट इंजीनियर सतिंदर कुमार ने कहा कि जो टंकी काम में नहीं आ सकती, उन्हें गिराया जाएगा। जिनकी कंडीशन थोड़ी खराब है, उन्हें रिपेयर करवाएंगे। उन्होंने कहा कि इस समय सिर्फ चार से पांच वाटर टैंक ही वर्किंग कंडीशन में है। करीब 15 वाटर टैंकों को सफाई और मरम्मत की जरूरत है। नगर निगम ने पिछले 3 से 4 सालों में कुछ नए वाटर टैंक भी बनवाए हैं लेकिन का भी इस्तेमाल नहीं हो रहा।

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