हरकत में आया प्रशासन, गेहूं के लिए मंडियों में पहुंचने लगी तिरपालें

मंडी में गेहूं की आमद से पहले खरीद व फसल के रखरखाव के लिए प्रशासन के दावे ग्राउंड पर अभी तक जीरो ही साबित हो रहे हैं। खुले आसमान के नीचे पड़ा गेहूं बरसात में भीगने व ढंकने का कोई प्रबंध न होने संबंधी बुधवार को प्रमुखता से दैनिक जागरण द्वारा प्रकाशित खबर के बाद प्रशासन हरकत में आ गया है।

By JagranEdited By: Publish:Thu, 22 Apr 2021 06:12 PM (IST) Updated:Fri, 23 Apr 2021 06:17 AM (IST)
हरकत में आया प्रशासन, गेहूं के लिए मंडियों में पहुंचने लगी तिरपालें
हरकत में आया प्रशासन, गेहूं के लिए मंडियों में पहुंचने लगी तिरपालें

जागरण टीम, होशियारपुर : मंडी में गेहूं की आमद से पहले खरीद व फसल के रखरखाव के लिए प्रशासन के दावे ग्राउंड पर अभी तक जीरो ही साबित हो रहे हैं। खुले आसमान के नीचे पड़ा गेहूं बरसात में भीगने व ढंकने का कोई प्रबंध न होने संबंधी बुधवार को प्रमुखता से दैनिक जागरण द्वारा प्रकाशित खबर के बाद प्रशासन हरकत में आ गया है और अब मंडी में गेहूं को ढंकने के लिए मजदूर लगाए गए हैं और तिरपालों की खेप पहुंचाई जा रही है ताकि फसल बरसात में बर्बाद न हो सके।

गेहूं की आमद के बाद मंडियों में प्रबंध के प्रशासन के दावों की पोल उस समय खुल गई थी जब जागरण टीम के मौके मुआयना कर सच्चाई सामने लाई। गेहूं खुले आसमान के नीचे बरसात में भीग रहा था और मंडी प्रबंधन मूकदर्शक बना हुआ था। गेहूं के ढंकने के लिए तिरपालें केवल नाम की ही थी क्योंकि वह बुरे हाल में थी। इस मुद्दे को उठाते हुए खबर प्रकाशित की थी। इसमें बताया गया था कि आसमान के नीचे फसल भीग रही है और उसे ढंकने के लिए मंडी प्रबंधन कुछ नहीं कर रहा। किसान की मेहनत बर्बाद हो रही है इसका जिम्मेदार कौन है। खबर छपने से उठे सवालों के बाद प्रशासन जाग गया और वीरवार को मंडी प्रबंधन ने तिरपालें मंडी में मंगवाई जोकि एफसीआइ विभाग के पास पड़ी थीं और उनसे गेहूं ढंकने का काम शुरू किया ताकि और गेहूं बरसात के कारण बर्बाद न हो सके।

बरसात में बर्बाद हो रहा था गेहूं

दो दिन पहले हुई मूसलाधार बारिश के चलते दाना मंडी होशियारपुर में गेहूं से भरी करीब 200 बोरियां भीग गई थी। मौके पर जायजा लेने के बाद कोई भी यह बताने के लिए तैयार नहीं था कि यह बोरियां किसकी है, सरकार या गैर सरकारी। बुधवार को जब मसला गर्म हुआ तो जिला प्रशासन ने तुरंत आपातकालीन बैठक बुलाई जिसमें डीसी अपनीत रियात ने अधिकारियों को इस संबंधी एक्शन लेने के लिए आदेश जारी किए। डीसी ने यह भी दावा किया कि जिले में बारदाने की कोई कमी नहीं है और मंडियों में पर्याप्त मात्रा में बारदाना उपलब्ध है। उन्होंने कहा कि गेहूं की निर्विघ्न खरीद लगातार जारी है और खराब मौसम के बावजूद मंडियों में किसानों की फसल को सही ढंग से संभाला जाए। इसके साथ सब-डिविजन स्तर पर एसडीएम को आदेश जारी किए कि वह हर रोज खुद जाकर मंडियों की जांच करें ताकि किसानों को फसल बेचने में किसी तरह की मुश्किल का सामना न करना पड़े। डीसी ने जिला में खराब मौसम के कारण मंडियों में आए गेहूं को बचाने के लिए जिला प्रशासन की ओर से प्रबंध पहले से ही पूरे कर लिए गए है ताकि बारिश के कारण गेहूं की फसल को बचाया जा सके। उन्होंने कहा कि इस संबंध में अधिकारियों व जिला मंडी अधिकारी को पहले से ही हिदायतें जारी की जा चुकी है कि वे खरीद एजेंसियों व आढ़तियों से संपर्क कर मौसम को ध्यान में रखते हुए गेहूं को बचाने के लिए तिरपालों की पूरी व्यवस्था करें। उन्होंने आदेश दिए कि जहां खुले में गेहूं है वहां बारिश के दौरान तिरपालों से अच्छी तरह गेहूं को ढका जाए।

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