बारिश से रघुवर भवन का मुख्य गेट व दीवार गिरी
पंजाब के सांस्कृतिक पुरातत्व और संग्राहालय विभाग की ओर से विरासती दर्जा प्राप्त फाजिल्का की सबसे पुरानी इमारत रघुवर भवन की तरफ पंजाब सरकार व जिला प्रशासन की ओर से ध्यान न देने पर भवन का मुख्य गेट गिर गया है।
संवाद सूत्र, फाजिल्का : पंजाब के सांस्कृतिक पुरातत्व और संग्राहालय विभाग की ओर से विरासती दर्जा प्राप्त फाजिल्का की सबसे पुरानी इमारत रघुवर भवन की तरफ पंजाब सरकार व जिला प्रशासन की ओर से ध्यान न देने पर भवन का मुख्य गेट गिर गया है। इसके अलावा नगर सुधार ट्रस्ट द्वारा इमारत की सुरक्षा के लिए करीब डेढ़ वर्ष पहले बनाई गई दीवार का भी काफी हिस्सा गिर गया है। हेरिटेज दर्जा प्राप्त इस इमारत के मौजूदा हालत यह है कि इमारत सिर्फ पिपल के पेड़ के सहारे ही खड़ी है और इसके चारों तरफ एक से दो फीट तक बारिश का पानी जमा हो चुका है, जिस कारण यह पूरी इमारत किसी भी समय मलबे के ढेर में बदल सकती है।
इतिहासकार लछमण दोस्त ने बताया कि इस इमारत को बने हुए 120 साल पूरे हो चुके हैं और मोहल्ला नईं आबादी इस्लामाबाद, धींगड़ा कालोनी, बस्ती चंदोरां व टीचर कालोनी के अलावा शहर के इतिहास को प्रेम करने वाले लोगों द्वारा यहां एक माह से अधिक समय तक धरना प्रदर्शन किया गया, जिसके बाद पंजाब सरकार के सांस्कृतिक पुरातत्व और संग्राहालय विभाग ने इसे हैरिटेज का दर्जा दिया, जिसकी अंतिम प्रकाशना 2016 में की गई थी। मगर उसके बाद न तो विभाग ने इस तरफ कभी ध्यान दिया और न ही जिला प्रशासन ने। हैरानी की बात यह भी है हैरीटेज का दर्जा प्राप्त इस इमारत के निकट कहीं भी हैरीटेज प्राप्त इमारत का बोर्ड तक नहीं लगाया गया। उन्होंने बताया कि हैरीटेज का दर्जा मिले आज पांच साल बीत गए, लेकिन इस की कभी रिपेयर तक नहीं की गई। जिस कारण यह इमारत अब बिलकुल गिरने के कगार पर है। उन्होंने पंजाब सरकार व जिला प्रशासन से मांग की है कि रघुवर भवन की संभाल की जाए ताकि यहां आने वाले पर्यटक फाजिल्का की इस शान को देख सकें। इसके अलावा आने वाली पीढ़ी को भी अपनी विरासत के बारे में जानकारी मिलती रहे।