जेनरे के डिजाइन बेड पर आप भी फरमा सकते हैं आराम, डायनिंग टेबल पर खाना, चंडीगढ़ प्रशासन ने म्यूजियम में दी खास सुविधा

जेनरे हाउस में बने गेस्ट रूम की बुकिंग टूरिज्म डिपार्टमेंट की वेबसाइट के माध्यम से होगी। वेबसाइट पर जेनरे यूजियम के नाम का लिंक मिलेगा। जिस पर विजिट कर रूम बुकिंग के लिए आवेदन किया जा सकता है। जरूरत और सही उद्देश्य जानने के बाद ही प्रशासन रूम बुक करेगा।

By Ankesh ThakurEdited By: Publish:Mon, 27 Sep 2021 04:06 PM (IST) Updated:Mon, 27 Sep 2021 04:06 PM (IST)
जेनरे के डिजाइन बेड पर आप भी फरमा सकते हैं आराम, डायनिंग टेबल पर खाना, चंडीगढ़ प्रशासन ने म्यूजियम में दी खास सुविधा
जेनरे म्यूजियम में गेस्ट हाउस स्टे शुरू होने के बाद यहां रुकने के लिए ऑनलाइन बुकिंग शुरू हो चुकी है।

चंडीगढ़, [बलवान करिवाल]। पियरे जेनरे के बारे में तो आप जानते ही होंगे। वही जेनरे जिनका डिजाइन फर्नीचर हेरिटेज हो चुका है। एक एक आइटम तस्करी के बाद विदेशी नीलाम घरों में लाखों की बिकती है। सोचिए अगर जेनरे के डिजाइन इसी फर्नीचर से फर्नीशड हाउस के अंदर समय व्यतीत करने को मिले तो कैसा होगा। उनकी डिजाइन डाइनिंग टेबल पर खाना सर्व हो उनके पसंदीदा निवार के बेड पर सोने को मिले। 

सबसे बड़ी बात उसी घर में जिसमें जेनरे खुद 11 साल रहे। उससे भी बड़ी बात इस को भी खुद जेनरे ने अपने लिए खास अंदाज में डिजाइन किया। अब यह घर एक आलिशान म्यूजियम का रूप ले चुका है। अगर आप आर्किटेक्चर रिसर्च वर्क से जुड़े हैं आर्किटेक्चर स्टूडेंट हैं या मॉर्डन आर्किटेक्चर वर्क में दिलचस्पी रखते हैं तो यह सपना हकीकत बन सकता है। सेक्टर-5 के जिस 57 नंबर मकान में पियरे जेनरे 11 साल रहे। इस घर में रहकर उनके आर्किटेक्टचर वर्क को करीब से जानने वालों की कतार भी लंबी हो रही है। जेनरे म्यूजियम में गेस्ट हाउस स्टे शुरू होने के बाद यहां रुकने के लिए ऑनलाइन बुकिंग शुरू हो चुकी है।

ऐसे म्यूजियम में गेस्ट रूम होगा बुक 

जेनरे हाउस में बने गेस्ट रूम की बुकिंग टूरिज्म डिपार्टमेंट की वेबसाइट के माध्यम से होगी। वेबसाइट पर जेनरे यूजियम के नाम का लिंक मिलेगा। जिस पर विजिट कर रूम बुकिंग के लिए आवेदन किया जा सकता है।जरूरत और सही उद्देश्य जानने के बाद ही प्रशासन रूम बुक करेगा। इस हाउस में तीन रूम गेस्ट के लिए हैं। जिसमें से टूरिस्ट आर्किटेक्ट स्टूडेंट को प्रति दिन 1500 रुपये देने होते हैं, जिसमें उन्हें इस घर की रसोई में बना ब्रेकफास्ट सर्व किया जाता है। इसके अलावा लोकल टूरिस्ट को प्रति दिन 2500 रुपये चुकाने होंगे। गेस्ट के लिए यहां एयर कंडीशनर की सुविधा दी गई है। हालांकि म्यूजियम में नीचे के फ्लोर में एयर कंडीशनर नहीं लगाया गया क्योंकि यहां हवा की व्यवस्था बहुत अच्छी है। 

जेनरे के डिजाइन फर्नीचर को छू सकेंगे

अमूमन लोग लग्जरी रूम में विशेष सुविधाओं के लिए एक रात के हजारों रुपये खर्च करते हैं। यहा स्थिति बिल्कुल अलग है। जेनरे हाउस में जेनरे के ही डिजाइन सामान्य निवार के बेड लगाए गए हैं। रूम में फर्नीचर भी हेरिटेज लगाया गया है। तीनों रूम में बाहर का अलग व्यू मिलेगा। हर रूम में दो बेड लगाए गए हैं। इस रूम में फर्नीचर की विशेषता इससे समझी जा सकती है कि जेनरे का डिजाइन किया फर्नीचर विदेशों में करोड़ों रुपये में नीलाम होता रहा है। 

ग्रीनरी से खास लगाव रखते थे जेनरे

पियरे जेनरे चंडीगढ़ के स्वरूप अनुसार घरों को भी 60:40 की रेशो में बनाते थे।जिसमें 60 प्रतिशत हिस्सा हरियाली और 40 प्रतिशत हिस्सा कंक्रीट का बना हो। जेनरे हाउस में भी आगे पीछे बड़ा लॉन है। जामुन, चीकू, नाशपाती, आम जैसे आठ तरह के फलदार पेड़ मौजूद हैं। घर की बनावट ऐसे है कि जिसमें सीधा दीवारों को संपर्क मैदान से होता है। इसमें दीवारें सीधी न होकर ट्राइएंगल बनाती है, जिससे घर के अंदर हवा और प्रकाश की व्यवस्था बनी रहे। उन्होंने छोटे सरकारी घरों में भी इसका ख्याल रखा था।

chat bot
आपका साथी