चंडीगढ़ कांग्रेस में नहीं थम रहा बवाल, 7 नेताओं ने एक साथ पार्टी से दिया इस्तीफा, पवन बंसल पर लगाए आरोप

चंडीगढ़ कांग्रेस पार्टी के सात नेताओं ने एक साथ पार्टी से इस्तीफा दिया है। पार्टी छोड़ने वाले नेताओं ने अपने इस्तीफे के लिए पूर्व केंद्रीय मंत्री पवन कुमार बंसल को जिम्मेदार बताया है। नेताओं ने राहुल गांधी और सोनिया गांधी को अपना इस्तीफा भेजा है।

By Ankesh ThakurEdited By: Publish:Thu, 05 Aug 2021 11:40 AM (IST) Updated:Thu, 05 Aug 2021 11:40 AM (IST)
चंडीगढ़ कांग्रेस में नहीं थम रहा बवाल, 7 नेताओं ने एक साथ पार्टी से दिया इस्तीफा, पवन बंसल पर लगाए आरोप
पार्टी छोड़ने वाले सभी नेताओं ने पवल कुमार बंसल पर कई तरह के आरोप लगाए हैं।

जागरण संवाददाता, चंडीगढ़। चंडीगढ़ कांग्रेस में बवाल थमने का नाम नहीं ले रहा है। संदीप भारद्वाज के बाद अब सात और नेताओं ने पार्टी को अलवीदा कह दिया है। यह सभी पार्टी पूर्व अध्यक्ष प्रदीप छाबड़ा के ही करीबी रहे हैं। नई प्रदेश कार्यकारिणी की बैठक से पहले सात कांग्रेस नेताओं ने राहुल गांधी और सोनिया गांधी को पत्र लिखकर इस्तीफा दिया है। इन सभी ने प्राइमरी सदस्यता से इस्तीफा दिया है। इस्तीफे का कारण पवन बंसल को बताया गया है।

इस्तीफे में इन नेताओं ने आरोप लगाया है कि पवन बंसल कांग्रेस को एक प्राइवेट लिमिटेड कंपनी की तरह चला रहे हैं। बंसल सभी कार्यकर्ताओं को अपना कर्मचारी मानकर व्यवहार करते हैं। ऐसे में वह इस तरह के नेता के साथ काम नहीं कर सकते। उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि रेल स्कैम के बाद से पार्टी शहर में कोई चुनाव नहीं जीती है। जिन नेताओं ने इस्तीफा दिया है उनमें जिला कांग्रेस के महासचिव जगदीश महाजन, राजमीत भारद्वाज, उपाध्यक्ष बेअंत सिंह, जिला कांग्रेस सचिव नरेंद्र सिंह, दिनेश शर्मा और चरणजीत शर्मा शामिल हैं। जबकि संदीप भारद्वाज का दावा है कि अगले दिनों में और नेता भी इस्तीफा देंगे।

मालूम हो कि जब सुभाष चावला को अध्यक्ष बनाया गया था तब भी इस्तीफा देने का सिलसिला शुरू हुआ था। जिन नेताओं ने इस्तीफा दिया है वह आम आदमी पार्टी के संपर्क में हैं। वहीं कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष अभी तक पार्टी में ही हैं। छाबड़ा गुट का कहना है कि संदीप भारद्वाज को प्रदेश कार्यकारिणी में कार्यकारी अध्यक्ष के तौर पर शामिल किया जाना था, लेकिन पवन बंसल ने ऐसा नहीं होने दिया। भारद्वाज का यह भी आरोप है कि राहुल गांधी ने उनका नाम प्रदेश कार्यकारिणी में शामिल होने के लिए भेजा था। लेकिन पवन बंसल ने सोनिया गांधी से उनका नाम प्रदेश कार्यकारिणी से बाहर करवा दिया। भारद्वाज का कहना है कि वह चंडीगढ़ में बंसल के नेतृत्व में काम नहीं करना चाहते। उनका कहना है कि इससे पहले चंद्रमुखी शर्मा, गुरबचण सिंह और पूर्व मेयर पूनम शर्मा ने भी बंसल के कारण ही कांग्रेस छोड़ी थी।

बंसल के नेतृत्व में ही कांग्रेस करेगी काम

वहीं उधर कांग्रेस प्रवक्ता सतीश कैंथ का कहना है कि जिला अध्यक्षों की नियुक्ति पिछले माह हुई है। जिला कार्यकारिणी का गठन अभी नए सिरे से अगले दिनों में होना है। ऐसे में जिन नेताओं ने इस्तीफा दिया है वह इस समय जिला कार्यकारिणी के पदाधिकारी नहीं थे। पिछली कार्यकारिणी रद हो चुकी है। कैंथ का कहना है कि बेवजहा मामले को तूल दिया जा रहा है। पवन बंसल के नेतृत्व में ही चंडीगढ़ कांग्रेस काम करती रही है और आगे भी करती रहेगी। बंसल के नेतृत्व में ही अगले साल कांग्रेस का मेयर बनेगा।

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