RERA को मोहाली से बिल्डरों के खिलाफ मिली एक हजार शिकायतें, GAMADA को कड़े कदम उठाने के निर्देश

मोहाली में सबसे ज्यादा हाउसिंग प्रोजेक्ट में निवेश करने वाले निवेशक हैं। मोहाली में विभिन्न रियल एस्टेट परियोजनाओं में लगभग 1500 करोड़ रुपये का निवेश लोगों ने किया था। पिछले एक दशक में मोहाली विशेष रूप से जीरकपुर खरड़ और न्यू चंडीगढ़ रियल एस्टेट हब के रूप में उभरा है।

By Ankesh ThakurEdited By: Publish:Thu, 25 Nov 2021 02:44 PM (IST) Updated:Thu, 25 Nov 2021 02:44 PM (IST)
RERA को मोहाली से बिल्डरों के खिलाफ मिली एक हजार शिकायतें, GAMADA को कड़े कदम उठाने के निर्देश
जीबीपी ग्रुप प्रबंधन के देश से भाग जाने के बाद यह पत्र रेरा की ओर से गमाडा को आया है।

जागरण संवाददाता, मोहाली। रियल एस्टेट रेगुलेटरी अथॉरिटी (रेरा) ने ग्रेटर मोहाली एरिया डेवलपमेंट अथॉरिटी (गमाडा) को पत्र लिखा है कि जो लोग रिहायशी व कमर्शियल प्रॉपर्टी में निवेश कर रहे हैं उनके अधिकारों को सुनिश्चित किया जाए। जीबीपी ग्रुप प्रबंधन के देश से भाग जाने के बाद यह पत्र रेरा की ओर से गमाडा को आया है। मोहाली में सबसे ज्यादा हाउसिंग प्रोजेक्ट में निवेश करने वाले निवेशक हैं। मोहाली में विभिन्न रियल एस्टेट परियोजनाओं में लगभग 1,500 करोड़ रुपये का निवेश लोगों ने किया था। पिछले एक दशक में जिला मोहाली विशेष रूप से जीरकपुर, खरड़ और न्यू चंडीगढ़ (मुल्लांपुर) रियल एस्टेट हब के रूप में उभरा है। पूरे पंजाब में लगभग 60 फीसद परियोजनाएं इन्हीं क्षेत्रों में है।

निजी बिल्डरों के अलावा, गमाडा की ओर से आइटी सिटी और एयरो सिटी जैसी टाउनशिप विकसित कर रहा है। रेरा के पास उपलब्ध आंकड़ों के मुताबिक, सितंबर 2017 से अब तक राज्य भर से बिल्डरों के खिलाफ 1,572 शिकायतें प्राप्त हुई हैं। इनमें से करीब एक हजार सिर्फ मोहाली से आई हैं।

रेरा ने अपने पत्र में गमाडा को कहा है कि जीबीपी जैसा प्रकरण निवेशकों साथ फिर से न हो इसको लेकर पुख्ता कदम उठाए जाएं। रेरा बिल्डरों को पांच साल की पंजीकरण अवधि दे रहा है, जबकि गमाडा उन्हें जमीन का भुगतान करने के लिए आठ साल का समय दे रहा है। ऐसे में बिल्डर के लिए पांच साल में पजेशन देना संभव नहीं है, क्योंकि न तो जमीन का मालिकाना हक उनके नाम पर है और न ही जब तक पूरा बकाया चुका दिया जाता है, तब तक उन्हें कंप्लीशन सर्टिफिकेट नहीं मिल पाता है। यहां तक कि आरइआरए नंबर भी बिना जमीन के मालिकाना हक के जारी किया जा रहा है।  हर बिल्डर को अपनी वेबसाइट पर बिक्री विलेख की एक प्रति अपलोड करने की आवश्यकता होती है। मोहाली के मामले में ज्यादातर बिल्डर इस कॉलम को खाली छोड़ रहे हैं। वहीं मामले में आवास और शहरी विकास पंजाब के प्रमुख सचिव सर्वजीत सिंह ने कहा कि निवेशकों के अधिकारों को सुनिश्चित करने के लिए पुख्ता कदम उठाए जा रहे हैं। भविष्य नियमों को ओर सख्त किया जाएगा।

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