डकैती और लूट में पकड़े तीन करोड़ रुपये इसलिए बन गए रद्दी..

नोटबंदी के बाद नोट बदलवाने की तय सीमा के अंदर बदलवाया जाना चाहिए था, लेकिन किसी भी पुलिस अधिकारी की जिम्मेदारी न लेने के चलते अब सरकार को करोड़ों रुपये का चूना लग सकता है।

By JagranEdited By: Publish:Wed, 26 Sep 2018 12:15 PM (IST) Updated:Wed, 26 Sep 2018 01:13 PM (IST)
डकैती और लूट में पकड़े तीन करोड़ रुपये इसलिए बन गए रद्दी..
डकैती और लूट में पकड़े तीन करोड़ रुपये इसलिए बन गए रद्दी..

राजेश मलकानिया, चंडीगढ़ : पंचकूला में हुई विभिन्न लूट, चोरी, डकैती और जुआखोरी की वारदातों में पुलिस द्वारा पकड़ी गई करोड़ों रुपये की नकदी रद्दी हो गई। यह पैसा सरकार का था, जोकि हरियाणा पुलिस की लापरवाही से रद्दी का ढेर बनकर रह गया। पंचकूला पुलिस के विभिन्न थानों द्वारा यह पैसा मालखाने में जमा करवाया गया था। जोकि, नोटबंदी के बाद नोट बदलवाने की तय सीमा के अंदर बदलवाया जाना चाहिए था, लेकिन किसी भी पुलिस अधिकारी की जिम्मेदारी न लेने के चलते अब सरकार को करोड़ों रुपये का चूना लग सकता है।

दरअसल, पिछले कुछ सालों में पंचकूला के थानों द्वारा गिरफ्तार किए आरोपितों से नकदी और सामान बरामद किया गया था। इसको सेक्टर-1 जिला कोर्ट परिसर में बने मालखाने में जमा करवा दिया गया था। नोटबंदी के बाद पुलिस को कोर्ट द्वारा यह पैसा जमा करवाने के लिए कहा गया था, परंतु पुलिस ने यह पैसा बैंकों में जमा करवाने की बजाय जिला ट्रेजरी में जमा करवा दिया। पुलिस ने ट्रंकों में सील लगाकर सभी नोट ट्रेजरी के पास जमा करवा दिए गए। इसमें पटियाला पुलिस की भी लाखों रुपये की पुराने नोटों की नकदी शामिल है। पुलिस की नासमझी से यह पैसा नोटबंदी के बाद ट्रेजरी में ही पड़ा है। इतना ही नहीं ट्रेजरी कार्यालय को भी यह बात अच्छे से पता थी कि उनके पास पुराने नोटों के करोड़ों रुपये जमा हैं, लेकिन ट्रेजरी अधिकारी ने केवल पत्र लिखकर अपनी ड्यूटी निभा दी। ऐसे हुआ खुलासा

जिला लीगल सर्विस अथॉरिटी के एडवोकेट मनवीर सिंह राठी के संज्ञान में पिछले दिनों यह बात आई थी। जिसके बाद उन्होंने पहले अपने स्तर पर पता लगाया कि ट्रेजरी और मालखाने में कितनी रकम पुराने नोटों की पड़ी है। जिसमें पता चला कि लगभग तीन करोड़ रुपये की पंचकूला के विभिन्न थानों और पटियाला पुलिस के किसी केस की रकम ट्रेजरी और मालखाने में जमा है। जिसके बाद मनवीर राठी ने इस संबंध में अथॉरिटी और चीफ ज्युडिशियल मजिस्ट्रेट के सचिव विवेक गोयल को पत्र लिखकर पूरी जानकारी दी। जिसके बाद सीजेएम विवेक जोशी ने डीसीपी पंचकूला को पत्र लिखकर इस संबंध में पूरी रिपोर्ट 15 दिन में जमा करवाने के निर्देश दिए।

पिंजौर थाने में पड़े हैं 83 लाख रुपये

बद्दी सिसवा रोड पर दिसंबर 2013 में एक्सिस बैंक के एटीएम में कैश डालने जा रही एक सिक्योरिटी एजेंसी की वैन से 4 लुटेरों ने दिन दहाडे़ 1 करोड़ 68 लाख रुपये लूट लिए थे। इस वारदात में पुलिस ने बाद आरोपितों को गिरफ्तार कर लिया था। आरोपितों से लगभग 83 लाख रुपये बरामद किए गए थे। जोकि आज भी पुलिस थाने में हैं। इन नोटों में लगभग डेढ़ से दो लाख रुपये 100 रुपये के नोट हैं, जबकि बाकी पैसा 500 और 1000 रुपये के नोट हैं। डिपार्टमेंट ने नहीं दिया ध्यान

दरअसल भारतीय रिजर्व बैंक की गाइडलाइंस के अनुसार नोटबंदी के बाद कुछ समय दिया गया था, जिसके बाद नोट बदले जाने थे। परंतु पुलिस की ओर से कोई ध्यान नहीं दिया। कुछ मामलों में नोट बदलने के लिए लोग आरबीआइ के पास कोर्ट के फैसले लेकर गए थे, परंतु आरबीआइ ने स्पष्ट कर दिया था। फैसलों में नोटों के नंबर शामिल करवाकर लाएं, तभी नोट बदले जाएंगे। इन थानों का इतना पैसा ट्रेजरी में

सेक्टर-5 पुलिस थाना - 17 लाख 39500 रुपये

सेक्टर-20 थाना - 3 लाख 25 हजार रुपये

सेक्टर-14 थाना - 2 लाख 77 हजार रुपये

चंडीमंदिर थाना - एक लाख 93 हजार

कालका थाना - 1 लाख 20 हजार

पिंजौर थाना - 88 हजार रुपये

रायपुररानी थाना - 76 हजार रुपये -मालखाने में लगभग 32 लाख 53500 रुपये

-इसके अलावा पटियाला पुलिस की लगभग लाखों रुपये की रकम पंचकूला ट्रेजरी में जमा है। क्या कहते हैं अधिकारी

हमारे पास पुलिस द्वारा सील बंद ट्रंक में पुराने नोटों की नकदी जमा करवा दी गई थी। हमने इन नोटों को बैंक में जमा करवाने के लिए संबंधित अधिकारी एवं डीसी को पत्र लिखा था, लेकिन अभी तक यह पैसा ट्रेजरी में जमा है। ट्रंकों में कितना पैसा है, कहना मुश्किल है, लेकिन रकम काफी बड़ी हो सकती है।

-सुनीता पातड़, जिला ट्रेजरी अधिकारी मेरे संज्ञान में मामला आया है। इस संबंध में डीसीपी से बातचीत के बाद ही कोई हल निकाला जा सकेगा।

-मुकुल कुमार, डीसी, पंचकूला मुझे पता चला था कि ट्रेजरी और मालखाने में करोड़ों रुपये के पुराने नोट पड़े हैं। जिसके बाद मैंने निजी तौर पर पूरी जाच की, तो यह पैसा लगभग तीन करोड़ रुपये के बीच पता चला। एक माह पूर्व डीसीपी को पत्र लिखकर पैसा बदलवाने के लिए लिखा था, परंतु कोई कार्रवाई नहीं की गई।

-मनवीर सिंह राठी, पैनल एडवोकेट, जिला लीगल सर्विस अथॉरिटी। मैंने सभी सरकारी वकीलों को हिदायतें दे दी हैं कि अब जो भी केस चले, उसमें सभी पुराने नोटों के नंबर लगाकर कोर्ट के समक्ष मामले को रखें, ताकि जब भी मामलों का फैसला हो, तो बैंक से बदलवाकर नए नोट शिकायतकर्ताओं को वापिस मिल सकें।

-अभिषेक जोरवाल, डीसीपी, पंचकूला चंडीगढ़ पुलिस के 60 लाख भी ट्रेजरी में

नोटबंदी के बाद यूटी पुलिस ने थानों में रखी करीब 60 लाख से नकदी सुप्रीम कोर्ट से परमिशन लेकर ट्रेजरी विभाग में जमा करवा दी थी। वर्तमान समय में चंडीगढ़ पुलिस के किसी भी थाने में पुराने नोट नहीं रखे गए हैं। अधिकारियों के अनुसार जल्द ही नए नोट बदलकर मिलने की उम्मीद है। यूटी पुलिस ने मालखाने में रखी नकदी को चेंज करवाने की एक योजना बनाई थी। जिसके तहत सभी थानों के नाम पर एक-एक बैंक अकाउंट खुलवाकर सभी पैसे जमा करवाने थे। लेकिन, बाद में किसी-किसी थाने में बैंक लिमिट से ज्यादा पैसा होने के कारण योजना को लागू नहीं किया गया। बाद में यूटी पुलिस विभाग ने इन पैसों को जमा करवाने के लिए सुप्रीम कोर्ट में याचिका लगाकर परमिशन प्राप्त कर ट्रेजरी विभाग में जमा करवा दिया था। नोटबंदी होने के बाद थानों, क्राइम ब्रांच, ऑपरेशन सेल विभाग द्वारा बरामद किए पैसे कोर्ट से ऑर्डर लेकर ट्रेजरी डिपार्टमेंट में जमा करवा दिया था।

-पवन कुमार, डीएसपी क्राइम

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