दुनिभाभर में तिरंगे की शान बढ़ाने वाली मान कौर पंचतत्व में विलीन

दुनियाभर में तिरंगे की शान को बढ़ाने वाली मास्टर एथलीट मान कौर का पार्थिव शरीर रविवार को पंचतत्व में विलीन हो गया। सेक्टर-25 के श्मशान घाट में इलेक्ट्रिक मशीन के जरिये उनका अंतिम संस्कार किया गया।

By JagranEdited By: Publish:Sun, 01 Aug 2021 07:41 PM (IST) Updated:Sun, 01 Aug 2021 07:41 PM (IST)
दुनिभाभर में तिरंगे की शान बढ़ाने वाली मान कौर पंचतत्व में विलीन
दुनिभाभर में तिरंगे की शान बढ़ाने वाली मान कौर पंचतत्व में विलीन

जासं, चंडीगढ़ : दुनियाभर में तिरंगे की शान को बढ़ाने वाली मास्टर एथलीट मान कौर का पार्थिव शरीर रविवार को पंचतत्व में विलीन हो गया। सेक्टर-25 के श्मशान घाट में इलेक्ट्रिक मशीन के जरिये उनका अंतिम संस्कार किया गया। उन्हें अंतिम विदाई देने के लिए परिवार के सदस्य व शहर की कुछ गिनी चुनी हस्तियां ही मौजूद रहीं।

मान कौर के पुत्र व मास्टर एथलीट गुरदेव सिंह ने बताया कि मान कौर का निधन शनिवार को दोपहर एक बजे हो गया था। ऐसे में सभी अखबारों व न्यूज चैनलों पर उनके निधन खबर आ गई थी, बावजूद इसके उन्हें अंतिम विदाई देने के लिए कोई बड़ी खेल व सियासी हस्ती पहुंची, यह काफी दुखद है, उनकी अंतिम विदाई चैंपियन की तरह होनी चाहिए थी। इस मौके सियासी हस्तियों में सिर्फ अकाली दल के नेता डॉ. दलजीत सिंह चीमा मौजूद थे। टोक्यो ओलिपिक में हिस्सा लेना थी आखिरी इच्छा

वहीं मान कौर का इलाज करने वाले आचार्य मुनीष ने बताया कि जब एलोपैथी ने मान कौर के इलाज के लिए मना कर दिया, तो उन्होंने मान कौर का इलाज शुरू किया। उनके पूरे शरीर में कैंसर फेल चुका था। ऐसे में हमारे दो दिनों के इलाज के बाद उन्हें शरीरिक दर्द से काफी आराम था। हम कैंसर का इलाज भी कर ही रहे थे, लेकिन दिक्कत यह थी उनकी उम्र काफी ज्यादा हो गई थी और उनका रिकवर करना काफी मुश्किल था। उन्होंने कहा कि हम जब भी मान कौर से बातचीत करते वह टोक्यो ओलिंपिक में जाने की बात करती थी, वह जल्द स्वस्थ होकर टोक्यो ओलिपिक में जाना चाहती थी। आचार्य मुनीष ने कहा कि मान कौर की आखिरी इच्छा को उनके बेटे गुरदेव सिंह पूरा करेंगे। उनकी संस्था उन्हें टोक्यो ओलिंपिक मास्टर गेम्स में हिस्सा लेने में पूरा सहयोग करेगी। मान कौर को नहीं मिला सम्मान

स्पो‌र्ट्स प्रमोटर देवेंद्र सिंह बाजवा ने कहा कि जब वह मान कौर के अंतिम संस्कार में हिस्सा लेने के लिए घर से निकले थे। तब उन्होंने सोचा था कि मान कौर को अंतिम विदाई देने के लिए लोगों का तांता लगा होगा। लेकिन चंडीगढ़ प्रशासन व पंजाब सरकार ने मास्टर एथलीट मान कौर को कोई सम्मान न देकर उनकी उपलब्धियों का अपमान किया है। परनानी का जीवन हमेशा करेगा फिटनेस के लिए प्रेरित

मान कौर की नाती अमनप्रीत कौर ने कहा कि परनानी हमेशा हंसती रहती थी, उन्होंने अपने जीवन में उन्हें कभी निराश नहीं देखा। वह हमारे पूरे परिवार का आधार थी। उनका जीवन हमारे लिए हमेशा प्ररेणा का स्त्रोत रहेगा। अमनप्रीत कौर ने बताया मान कौर की आत्मा की शांति के लिए परिवार की तरफ से सेक्टर -40 स्थित गुरुद्वारा श्री अर्जन देव साहिब में दो अगस्त को सहज पाठ आरंभ किए जाएंगे, भोग सात अगस्त को डाला जाएगा। मान कौर के नाम से बने स्मारक या स्पो‌र्ट्स कांप्लेक्स

अकाली दल के नेता डा. दलजीत सिंह चीमा ने कहा कि मान कौर बड़ी एथलीट्स थी। उन्होंने न सिर्फ अंतरराष्ट्रीय खेल प्रतियोगिताओं में मेडल जीते, बल्कि आठ व‌र्ल्ड रिकार्ड भी बनाए हैं। ऐसे में सरकार को उनके निधन पर उनसे जुड़ी कोई बड़ी घोषणा करनी चाहिए, उनके नाम का कोई स्मारक या स्पो‌र्ट्स कांप्लेक्स बनना चाहिए। ताकि युवा पीढ़ी उनसे प्ररेणा लेकर खेलों से जुड़ सके।

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