Fire in Chandigarh: चंडीगढ़ में तीन दिन में चार जगह हुई आग की घटनाएं, दमकल विभाग के लिए चुनौती

गर्मियां शुरू होते ही चंडीगढ़ में आगजनी की घटनाओं में बढ़ने लगी है। बीते तीन दिनों आग लगने की चार घटनाएं हो चुकी हैं। धनास के जगल भी आग से अछुते नहीं हैं। वहीं एक सप्ताह के भीतर छह आग लगने की घटनाएं घट चुकी हैं।

By Ankesh ThakurEdited By: Publish:Sun, 23 May 2021 01:29 PM (IST) Updated:Sun, 23 May 2021 01:29 PM (IST)
Fire in Chandigarh: चंडीगढ़ में तीन दिन में चार जगह हुई आग की घटनाएं, दमकल विभाग के लिए चुनौती
चंडीगढ़ में तीन दिन में चार जगह हुई आग लगने की घटनाएं।

चंडीगढ़, जेएनएन। गर्मियां शुरू होते ही चंडीगढ़ में आगजनी की घटनाओं में बढ़ने लगी है। बीते तीन दिनों आग लगने की चार घटनाएं हो चुकी हैं। धनास के जगल भी आग  से अछुते नहीं हैं। वहीं, एक सप्ताह के भीतर छह आग लगने की घटनाएं घट चुकी हैं।

ज्यादातर आग लगने की घटनाएं शहर की मार्केट में घटित हुई हैं। शुक्रवार को शहर की सबसे बड़ी ऊन मार्केट सेक्टर-38 में स्थित दुकानों में आग लग थी। इस घटना में छह दुकानें जलकर राख हो गई थी। वहीं, धनास स्थित मार्बेल मार्केट में आग लगने से दो दुकानें जल गई थी। शहर में सूखे पत्तों में आग लगने की घटनाओं के बीच दुकानों में आग लगने की घटनाएं अब ज्यादा हो रही हैं। हालांकि मार्केट की दुकानों में आग लगने का कारण शार्ट सर्किट सामने आया है। ऐसे में शहर में हो रही आग लगने की घटनाओं से दमकल विभाग के पसीने छुटे हुए हैं।

अवैध दुकानों पर नहीं हो रही कार्रवाई

शहर में कई दुकानें ऐसी बनी हुई हैं, जिनका निर्माण अवैध रूप से हुआ है। इन दुकानों पर कोई भी कार्रवाई नहीं हो रही हैं। नगर निगम की नाक के नीचे अवैध दुकानों का निर्माण हो रखा है, लेकिन इनको हटाने की जहमत नहीं उठाई।  सूत्रों के अनुसार जंगलों में लगी आग से ज्यादा खतरनाक और जानलेवा दुकानों में लगने वाली आग है। शहर में कई दुकानें ऐसी है जो अवैध हैं बावजूद उन पर कार्रवाई नहीं होती।

निगम के पास सूखे पत्ताें को डंप करने की नहीं कोई सुविधा

जहां एक ओर शहर में अवैध दुकानों का कब्जा है, वहीं दूसरी ओर शहर में पड़े सूखें पत्तों को डंप करने के लिए निगम के पास कोई ठोस जगह नहीं है। शहर की सड़कों पर बिखरे सूखे पत्ते और सड़क के किनारे लगा पत्तों का ढेर इस बात की गवाही दे रहे हैं। इस वर्ष जनवरी से अभी तक जितनी भी आग लगी है उनमें 60 फीसद आग की घटनाएं सूखे पत्तों के कारण हुई हैं। 

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